27 June, 2025
Kumar Saket
मानसून में घूमना किसे अच्छा नहीं लगता. तो बस अगर आप भी घुमने का प्लान बना रहे हैं, तो मध्य प्रदेश घूमने के लिए स्वर्ग से कम नहीं होगा. ये डेस्टिनेशन मानसून के मौसम में हरियाली, ठंडक, साथ ही ऐतिहासिक-प्राकृतिक सौंदर्य का बेहतरीन मिश्रण प्रदान करते हैं.
पचमढ़ी को 'सतपुड़ा की रानी' कहा जाता है, यहां जुलाई–सितंबर के दौरान हरियाली, कल-कल करते झरने जैसे बी फॉल्स, सिल्वर फॉल्स, अप्सरा विहार और धूपगढ़ की ऊंचाई 1,350 मी तक पहुंच जाती है. घने जंगल, झरनों की नजारा और ठंडा मौसम इसे मानसून का शानदार डेस्टिनेशन बनाते हैं.
इन्दौर के पास स्थित, मांडू में मानसून के दौरान अफगान वास्तुकला जलमग्न हो जाती है. जहाज महल जैसे स्मारक पानी के किनारों तक पहुंचते हैं, रानी रूपमती और बाज बहादुर महल में रोमांटिक नजारे मिलते हैं. प्रकृति और ऐतिहासिक मिश्रण इसे इस मौसम का परफेक्ट डेस्टिनेशन बनाता है.
मांडू
जबलपुर के पास स्थित भेड़ाघाट में नर्मदा नदी का धुआंधार जलप्रपात मानसून में विशेष रूप से शानदार बन जाता है. 30 मीटर ऊंचा यह झरना मिस्ट और गर्जना पैदा करता है, साथ में नाव और रस्सीदार कार की सुविधा भी रहती है.
नदी उद्गम स्थल के रूप में प्रसिद्ध अमरकंटक में मानसून में प्रकृति खिल उठती है. नर्मदा, सोन, दूधधारा, कपिलधारा झरने और माइलों तक फैली हरियाली इसे नेचर लवर्स के लिए स्वर्ग बनाती है.
बेतवा नदी के किनारे बसा ओरछा मानसून में चार चांद लग जाता है. पुरानी किले, राजमहल, लक्ष्मी मंदिर, चतुर्भुज मंदिर व रिफ्टिंग जैसे ऐतिहासिक और रोमांटिक अनुभव यहाँ मानसूनी मौसम में और भी दमकते हैं.
बरसात में भोपाल की झीलों – खासकर भोजताल/बड़ा तालाब – का नजारा बेहद मनोहारी होता है. वान विहार में सायक्लिंग, लेक क्लब की बोटिंग और बरसाती छतों से झील दृश्य आनंद का अनुभव दिलाते हैं.
विश्व धरोहर स्थल खजुराहो की मंदिर वास्तुकला मानसून में जीवंत दिखाई पड़ती है. पास में रनेह फॉल्स और अजयगढ़ किला भी मौजूद हैं, जो दृष्यों में चारचांद लगा देते हैं.