डॉलर की जगह लेगा सोना! दुनिया भर के केंद्रीय बैंक जमकर कर रहे खरीदारी; चीन को सबसे ज्यादा फायदा
Gold reserves: वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल (WGC) की ताजा रिपोर्ट के अनुसार, दुनिया भर के केंद्रीय बैंक अपनी विदेशी मुद्रा भंडार में अमेरिकी डॉलर की जगह सोने को ज्यादा तवज्जो दे सकते हैं. यह बदलाव दुनिया भर में बिगड़ते भू-राजनीतिक हालात और ट्रेड को लेकर बढ़ती चिंता की वजह से है.
Gold vs Dollar: जब से दुनिया में अनिश्चितता फैल रही है तब से ही गोल्ड पर कई देशों की निर्भरता बढ़ती जा रही है. इस वजह से सोना अब डॉलर को कड़ी टक्कर दे रहा है क्योंकि कई देशों के रिजर्व में सोना तेजी से जगह बना रहा है. वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल (WGC) की ताजा रिपोर्ट में बताया गया कि आने वाले 5 सालों में दुनिया भर के केंद्रीय बैंक अपने विदेशी मुद्रा भंडार में अमेरिकी डॉलर की जगह सोने को ज्यादा तवज्जो दे सकते हैं. ये बदलाव दुनिया भर में बिगड़ते भू-राजनीतिक हालात और ट्रेड को लेकर बढ़ती चिंता की वजह से है, इसलिए हर देश सुरक्षित निवेश विकल्पों की तरफ अपना रुझान बढ़ा रहे हैं. यही नहीं यूरो और चीन की करेंसी युआन की पकड़ भी तेजी से मजबूत हो रही है.
सोने की होल्डिंग बढ़ाने का प्लान
ET की रिपोर्ट के मुताबिक, WGC के एशिया पैसिफिक और सेंट्रल बैंकिंग प्रमुख शाओकाई फैन का कहना है, करीब आधे सेंट्रल बैंक अगले साल में अपनी सोने की होल्डिंग्स बढ़ाने की योजना बना रहे हैं. ये काफी अहम बात है, खासकर तब जब 2025 में गोल्ड के दाम कई बार रिकॉर्ड तोड़ चुके हैं. दरअसल, 2024 से ही सोने की कीमतों में जबरदस्त उछाल आया है और इस रफ्तार को बनाए रखने में संस्थागत खरीदारी ने बड़ी भूमिका निभाई है.
रिपोर्ट के मुताबिक, शाओकाई फैन ने कहा कि आज की वैश्विक अर्थव्यवस्था और राजनीतिक माहौल को देखते हुए ये साफ है कि सोना एक रणनीतिक संपत्ति बना हुआ है. ब्याज दरों की अनिश्चितता, महंगाई और बाजारों में अस्थिरता के बीच सेंट्रल बैंक जोखिम कम करने के लिए सोने की ओर झुक रहे हैं.
पिछले कुछ सालों में यह रुझान और तेज हुआ है. रिपोर्ट के मुताबिक, बीते तीन वर्षों में हर साल दुनिया भर के सेंट्रल बैंकों ने 1,000 टन से ज्यादा सोना खरीदा है जबकि पिछले दशक में ये औसत 400 से 500 टन के बीच था.
डॉलर पर भरोसा कम
WGC की सर्वे में 73 देशों के सेंट्रल बैंकों से बात की गई है. दिलचस्प बात ये है कि सर्वे में ज्यादातर लोगों ने अमेरिकी डॉलर को लेकर उतना भरोसा नहीं जताया, जितना पहले होता था. भले ही अभी हर किसी देश के रिजर्व में डॉलर की जगह सबसे ऊपर है और अधिकतर इंटरनेशनल ट्रेड भी इसी में होता है, लेकिन धीरे-धीरे इसका दबदबा कम हो रहा है.
सर्वे में क्या-क्या पाया गया
सर्वे में 95% ने कहा कि आने वाले 12 महीनों में ग्लोबल स्तर पर सेंट्रल बैंकों की गोल्ड होल्डिंग्स में और बढ़ोतरी होगी. यह आंकड़ा 2019 से ट्रैक की जा रही इस रिपोर्ट का अब तक का सबसे ऊंचा स्तर है. 2024 की तुलना में यह 17% ज्यादा है.
सर्वे में 73% सेंट्रल बैंक अधिकारी मानते हैं कि अगले पांच साल में विदेशी मुद्रा भंडार में अमेरिकी डॉलर की हिस्सेदारी मध्यम या काफी कम हो सकती है. इसके बदले में यूरो, युआन और सोने की हिस्सेदारी बढ़ने की उम्मीद जताई गई है.
बैंक ऑफ बड़ौदा की रिपोर्ट बताती है कि 2009 से 2024 के बीच सेंट्रल बैंकों की सोने की होल्डिंग्स हर साल औसतन 4.1% बढ़ी है.
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इन देशों के पास सबसे ज्यादा सोना
दुनिया में सबसे ज्यादा सोना रखने वाले टॉप 10 देश-
- अमेरिका
- जर्मनी
- इटली
- फ्रांस
- स्विट्जरलैंड
- जापान
- नीदरलैंड्स
- चीन
- रूस
- भारत