Gold ETF में निवेश से पहले चेक करें ये 3 चीजें, जानें- किस फंड में मिलेगा सबसे अधिक रिटर्न

Gold ETF: गोल्ड के डिजिटल अवतार में आप कम बजट में भी गोल्ड में निवेश शुरू कर सकते हैं और इसका असर भी देखने को मिला है. एक्सचेंज ट्रेडेड फंड और फंड ऑफ फंड जैसे इन्वेस्टमेंट्स लोगों के बीच काफी पॉपुलर हुए हैं.

गोल्ड ईटीएफ में निवेश. Image Credit: Getty image

Gold ETF: बीते हुए फाइनेंसियल ईयर यानी 2024-25 में गोल्ड ने करीब 35 फीसदी का रिटर्न दिया है. यह एक ऐसा एसेट रहा है जिसने इस साल सारे एसेट्स को पीछे छोड़ दिया. इसकी तेजी ने बहुत सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं. गोल्ड के डिजिटल अवतार में आप कम बजट में भी गोल्ड में निवेश शुरू कर सकते हैं और इसका असर भी देखने को मिला है. एक्सचेंज ट्रेडेड फंड और फंड ऑफ फंड जैसे इन्वेस्टमेंट्स लोगों के बीच काफी पॉपुलर हुए हैं. गोल्ड ईटीएफ में आपको कैसे निवेश करना चाहिए और इसमें निवेश करने के क्या फायदे हैं इसे समझ लेते हैं.

एसोसिएशन ऑफ म्यूच्यूल फंड्स इन इंडिया के मार्च 2025 में गोल्ड ईटीएफ के आंकड़े हमें बता रहे हैं कि गोल्ड ईटीएफ का जो एसेट अंडर मैनेजमेंट था वो बड़ा होकर 58,887 करोड़ का हो गया है.

एक्सचेंज के जरिए खरीद-बिक्री

मिराए एसेट इन्वेस्टमेंट मैनेजर्स इंडिया के हेड ईटीएफ प्रोडक्ट एंड फंड मैनेजर सिद्धार्थ श्रीवास्तव ने गोल्ड में निवेश से जुड़ी कई अहम जानकारियां दी हैं. गोल्ड ईटीएफ एक म्यूच्यूल फंड है, जिसे आप एक्सचेंज पर बाय और सेल कर सकते हैं. आप इसे एक्सचेंज पर किसी भी वॉल्यूम में खरीद सकते हैं. आप 1 यूनिट 10 यूनिट 1000 यूनिट 10,000 यूनिट जितनी भी क्वांटिटी चाहिए आप खरीद सकते हैं.

सिद्धार्थ श्रीवास्तव ने कहा कि गोल्ड ईटीएफ के चुनने को लेकर कहा कि हमारी इंडस्ट्री में फिलहाल करीब 20 गोल्ड ईटीएफ हैं. निवेशकों को तीन चीजों का ध्यान रखना चाहिए.

टोटल एक्सपेंस रेश्यो

सबसे पहले टोटल एक्सपेंस रेश्यो (TER) देखना चाहिए. जिस फंड का सबसे कम TER है, उसे ही चुनना चाहिए. अगर गोल्ड ने 30 फीसदी का रिटर्न दिया और फंड का TER 0.5 फीसदी है. मतलब आपको कुल रिटर्न 29.5 फीसदी मिलेगा. जितना TER होगा, उतना रिटर्न कम हो जाएगा, क्योंकि यह वो चार्ज होता है, जिससे फंड चलता है.

लिक्विडिटी

इसके बाद ईटीएफ की लिक्विडिटी की जांच करनी चाहिए. आप वॉल्यूम और ऑर्डर बुक की जांच के बाद ही फंड में निवेश करें.

एसेट अंडर मैनेजमेंट

निवेशकों एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM) चेक करें. क्योंकि जितना अधिक AUM होगा, उतना अधिक रिटर्न के चांस बनेंगे.

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