PPF से लेकर सुकन्या समृद्धि तक की ब्याज दर में हो सकती है कटौती, स्मॉल सेविंग स्कीम पर घट जाएगा रिटर्न
Small Saving Schemes: इस साल अब तक सुकन्या समृद्धि योजना और सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम सहित पोस्ट ऑफिस योजनाओं की ब्याज दरें में कोई बदलाव नहीं हुआ है. लेकिन 1 जुलाई 2025 से इसमें बदलाव हो सकता है. ऐसा कहा जा रहा है कि इस बार ब्याज दर में कटौती हो सकती है.

Small Saving Schemes: पब्लिक प्रोविडेंड फंड (PPF), नेशनल सेविंग सर्टिफिकेट (NSC) जैसी अन्य स्मॉल सेविंग स्कीम की ब्याज दरों की समीक्षा 30 जून 2025 को होनी है. नई दरें वित्त वर्ष 2025-26 की जुलाई-सितंबर तिमाही के लिए प्रभावी होंगी. इस साल अब तक सुकन्या समृद्धि योजना और सीनियर सिटीजन सेविंग स्कीम सहित पोस्ट ऑफिस योजनाओं की ब्याज दरें में कोई बदलाव नहीं हुआ है. लेकिन 1 जुलाई 2025 से इसमें बदलाव हो सकता है. भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने 2025 की शुरुआत से अब तक तीन बार रेपो दर में कटौती की है.
RBI ने रेपो रेट में की है कटौती
केंद्रीय बैंक ने सबसे पहले फरवरी में रेपो रेट में 25 बेसिस प्वाइंट की कटौती की. फिर अप्रैल में 25 बेसिस प्वाइंट की कटौती की गई और जून में 50 बेसिस प्वाइंट की कटौती हुई. अब तक केंद्रीय बैंक ने रेपो रेट में 1 फीसदी की कटौती की है. रेपो रेट में कटौती के जवाब में बैंकों ने फिक्स्ड डिपॉजिट पर ब्याज दर कम कर दी है. कुछ बैंकों ने अपनी स्पेशल FD भी बंद कर दी हैं, जो एक निश्चित अवधि के लिए सामान्य बैंक FD की तुलना में अधिक ब्याज दर प्रदान करती थीं.
बॉन्ड यील्ड में गिरावट
रेपो दरों में 1 फीसदी की कटौती से बॉन्ड यील्ड में भी कमी आई है. निवेशकों को यह ध्यान में रखना चाहिए कि बॉन्ड यील्ड और RBI की पॉलिसी दरों के बीच सकारात्मक संबंध है. इसलिए, जब भी बाजार को उम्मीद होती है कि RBI रेपो दर में कमी करेगा, बॉन्ड यील्ड में भी गिरावट आती है.
Investing.com के डेटा के अनुसार, 1 जनवरी 2025 को 10 वर्षीय G-sec बॉन्ड यील्ड 6.779 फीसदी थी. लेकिन 24 जून 2025 तक यह गिरकर 6.247 फीसदी हो गई. इसका मतलब है कि अब तक बॉन्ड यील्ड में 0.532 फीसदी की कमी आई है और इसमें और गिरावट की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता है.
श्यामला गोपीनाथ समिति की सिफारिशें
डाकघर बचत योजना पर ब्याज दर श्यामला गोपीनाथ समिति की सिफारिशों के आधार पर निर्धारित की जाती है. वित्त मंत्रालय द्वारा स्वीकार की गई सिफारिशों के अनुसार, तुलनीय मैच्योरिटी की केंद्र सरकार की सिक्योरिटी पर सेकेंडरी मार्केट यील्ड को अलग-अलग स्मॉल सेविंग इंस्ट्रूमेंट पर ब्याज दरों के लिए बेंचमार्क के रूप में काम करना चाहिए. साथ ही 25 बेसिस प्वाइंट का पॉजिटिव स्प्रेड भी होना चाहिए.
फॉर्मूले के आधार पर ब्याज दर
इसका मतलब है कि 5 साल की फिक्सड डिपॉजिट की ब्याज दर सेकेंडरी मार्केट में प्रचलित 5 साल की सरकारी सिक्योरिटीज की यील्ड पर आधारित होनी चाहिए और इसमें 25 बेसिस प्वाइंट जोड़ने चाहिए. Investment.com के अनुसार, PPF के लिए 24 मार्च, 2025 और 24 जून 2025 के बीच 10 साल की सरकारी सिक्योरिटीज की औसत यील्ड 6.325 फीसदी है. इस पर 25 बेसिस प्वाइंट जोड़ने पर समिति द्वारा सुझाए गए फॉर्मूले के अनुसार PPF की ब्याज दर 6.575 फीसदी हो जाएगी.
ब्याज दर में हो सकती है कटौती
वर्तमान में PPF निवेशकों को 7.10 फीसदी की दर से ब्याज देता है. तय सिस्टम के अनुसार, रेपो रेट में कटौती और बॉन्ड यील्ड में गिरावट से संकेत मिलता है कि बाजार में मौजूदा ब्याज दर को ध्यान में रखते हुए छोटी बचत योजनाओं पर ब्याज दर में भी कटौती की जा सकती है. हालांकि, यह हमेशा सरकार द्वारा लिए गए अंतिम निर्णय में नजर नहीं आता है.
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