खाड़ी में जंग, दुनिया की उड़ानों में हड़कंप! एयर इंडिया, ब्रिटिश एयरवेज से लेकर सिंगापुर एयरलाइंस ने बदले रास्ते
एक नई भू-राजनीतिक टकराव ने अंतरराष्ट्रीय विमानन में हलचल मचा दी है. दुनिया की बड़ी एयरलाइंस उड़ानें रद्द कर रही हैं, रास्ते बदल रही हैं और यात्रियों में बेचैनी बढ़ रही है. किराए गिरे हैं, लेकिन सुरक्षा खतरे भी सिर पर मंडरा रहे हैं. क्या आप भी प्रभावित होंगे? जानिए आगे…
ईरान पर अमेरिकी सैन्य कार्रवाई के बाद पर्सियन गल्फ में तनाव चरम पर है और इसका सीधा असर वैश्विक उड़ानों पर देखने को मिल रहा है. ब्रिटिश एयरवेज, सिंगापुर एयरलाइंस और एयर इंडिया जैसी दिग्गज एयरलाइनों ने या तो अपनी उड़ानें रद्द कर दी हैं या उन्हें नए रूट पर मोड़ दिया है. एयरस्पेस की सुरक्षा को देखते हुए यह कदम उठाए गए हैं, जिससे खाड़ी क्षेत्र की हवाई यातायात बुरी तरह प्रभावित हो गई है.
ब्रिटिश एयरवेज और सिंगापुर एयरलाइंस ने खींचे ब्रेक
ब्रिटिश एयरवेज ने दुबई, दोहा और बहरीन की कई उड़ानें रद्द कर दी हैं. कुछ विमानों को बीच रास्ते से ही लौटा लिया गया- जैसे लंदन से दुबई जा रही एक फ्लाइट को सऊदी अरब के एयरस्पेस में घुसते ही ज्यूरिख डायवर्ट कर दिया गया. इसी तरह, एक अन्य फ्लाइट को मिस्र पहुंचते ही वापस लंदन बुला लिया गया.
सिंगापुर एयरलाइंस ने भी दुबई की दो फ्लाइट्स रद्द की हैं और यात्रियों को चेताया है कि भविष्य में और भी बदलाव हो सकते हैं.
एयर इंडिया और जापान एयरलाइंस ने बदले रास्ते
एयर इंडिया ने साफ किया है कि वह अब ईरान, इराक और इजरायल के एयरस्पेस से होकर उड़ान नहीं भरेगी. इस फैसले का असर भारत से खाड़ी देशों के साथ-साथ यूरोप और अमेरिका जाने वाली फ्लाइट्स पर भी पड़ेगा, जिससे यात्रा समय बढ़ेगा. एयर इंडिया एक्सप्रेस ने भी कई फ्लाइट्स रद्द कर दी हैं.
जापान एयरलाइंस ने टोक्यो से दोहा की फ्लाइट में 20 मिनट का अतिरिक्त समय जोड़ दिया है, ताकि पर्सियन गल्फ के खतरे से बचा जा सके.
टिकट बुकिंग में गिरावट, किराए में कमी
इरान इजरायल के बढ़ते तनाव और अमेरिका के एंट्री के बाद एयर इंडिया की कुछ रूट्स पर बुकिंग में 20 फीसदी तक की गिरावट दर्ज की गई है और किराए 8–15 फीसदी तक नीचे आए हैं. अहमदाबाद में हुई एक एयर इंडिया दुर्घटना ने भी यात्रियों की चिंता बढ़ाई है.
‘Safe Airspace’ जैसी वैश्विक एजेंसियों ने वॉर्निंग जारी की है कि अमेरिकी हमलों के जवाब में ईरान की मिसाइल या ड्रोन गतिविधियां विमानन सुरक्षा के लिए बड़ा खतरा बन सकती हैं. वहीं, तनाव के चलते जेट फ्यूल की कीमतें बढ़ने का भी खतरा है.
इजरायल चला रहा है इमरजेंसी फ्लाइट्स
इजरायल ने विदेश में फंसे नागरिकों के लिए 24 इमरजेंसी फ्लाइट्स प्रतिदिन शुरू की हैं. एल आल एयरलाइन को एक ही दिन में 25,000 से अधिक लोगों के वापसी अनुरोध मिले हैं.