‘अगर आप सच्चे भारतीय होते…’ राहुल गांधी के चीन के कब्जे वाले दावे पर सुप्रीम कोर्ट की सख्त टिप्पणी; पूछा- आपको ये सब कैसे पता
Supreme Court-Rahul Gandhi: मानहानि के मुकदमे को चुनौती देने वाली गांधी की याचिका पर सुनवाई करते हुए शीर्ष अदालत ने पूछा, 'आपको कैसे पता चला कि चीन ने 2,000 किलोमीटर जमीन पर कब्जा कर लिया है?' हालांकि, अदालत ने इस बयान से संबंधित गांधी के खिलाफ मानहानि की कार्यवाही पर रोक लगा दी.
Supreme Court-Rahul Gandhi: सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को कांग्रेस नेता और सांसद राहुल गांधी को उनके इस दावे पर फटकार लगाई कि चीन ने 2,000 किलोमीटर से अधिक भारतीय जमीन पर कब्जा कर लिया है. कोर्ट ने कहा कि एक ‘सच्चा भारतीय’ ऐसी टिप्पणी नहीं करेगा. हालांकि, अदालत ने इस बयान से संबंधित गांधी के खिलाफ मानहानि की कार्यवाही पर रोक लगा दी.
राहुल गांधी का दावा
अपनी 2022 की भारत जोड़ो यात्रा के दौरान, कांग्रेस नेता ने दावा किया था कि चीन ने 2,000 वर्ग किलोमीटर भारतीय क्षेत्र पर कब्जा कर लिया है और चीनी सैनिक ‘अरुणाचल प्रदेश में भारतीय सैनिकों की पिटाई कर रहे हैं’.
कोर्ट ने पूछा सख्त सवाल
मानहानि के मुकदमे को चुनौती देने वाली गांधी की याचिका पर सुनवाई करते हुए शीर्ष अदालत ने पूछा, ‘आपको कैसे पता चला कि चीन ने 2,000 किलोमीटर जमीन पर कब्जा कर लिया है?’ अदालत ने जोर देकर कहा कि ‘अगर आप सच्चे भारतीय होते, तो ऐसा नहीं कहते.’
संसद में क्यों नहीं पूछ रहे हैं ये सवाल?
न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता और न्यायमूर्ति ऑगस्टाइन जॉर्ज मसीह की पीठ ने लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी को और फटकार लगाते हुए पूछा, ‘आप विपक्ष के नेता होने के नाते ये बातें क्यों कह रहे हैं?’ आप संसद में ये सवाल क्यों नहीं पूछ रहे हैं?’
इलाहाबाद उच्च न्यायालय द्वारा 29 मई को समन आदेश और आपराधिक शिकायत को चुनौती देने वाली उनकी याचिका खारिज किए जाने के बाद गांधी ने सर्वोच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया. उन्होंने तर्क दिया कि यह मामला राजनीति से प्रेरित है और दुर्भावनापूर्ण इरादे से दायर किया गया है. उनकी याचिका को खारिज करते हुए, उच्च न्यायालय ने कहा था कि अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का अर्थ सेना को बदनाम करना नहीं है.
‘चीनी जमीन हड़पने’ पर राहुल गांधी ने क्या कहा था?
राजस्थान में 2022 की एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में राहुल गांधी ने चीन द्वारा 2,000 वर्ग किलोमीटर भारतीय जमीन पर कब्जा करने और भारतीय सेना के खिलाफ उसकी आक्रामकता पर चुप्पी साधने के लिए भाजपा की आलोचना की.
गांधी ने कहा था, कि ‘लोग भारत जोड़ो यात्रा, अशोक गहलोत और सचिन पायलट वगैरह के बारे में पूछेंगे, लेकिन वे चीन द्वारा 2,000 वर्ग किलोमीटर भारतीय जमीन पर कब्जा करने, 20 भारतीय सैनिकों को मारने और अरुणाचल प्रदेश में हमारे सैनिकों की पिटाई करने के बारे में एक भी सवाल नहीं पूछेंगे. लेकिन भारतीय प्रेस उनसे इस बारे में एक भी सवाल नहीं पूछता. क्या यह सच नहीं है? देश यह सब देख रहा है. ऐसा दिखावा न करें कि लोगों को पता नहीं है.’
जम्मू-कश्मीर में भी कही थी ये बात
उन्होंने जनवरी 2023 में जम्मू-कश्मीर में भी यही दावा दोहराया और कहा कि पूर्व सैन्य अधिकारियों ने भी इस कब्जे के बारे में यही जानकारी दी है.
राहुल गांधी ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि भारत के प्रधानमंत्री देश के एकमात्र ऐसे व्यक्ति हैं, जिन्हें लगता है कि चीन ने भारत की कोई जमीन नहीं छीनी है. मैंने हाल ही में कुछ पूर्व सैन्य अधिकारियों से मुलाकात की, यहां तक कि लद्दाख से आए एक प्रतिनिधिमंडल से भी, जिसने साफ तौर पर कहा कि हमारे 2000 वर्ग किलोमीटर भारतीय क्षेत्र पर चीनियों ने कब्जा कर लिया है.
कांग्रेस नेता ने यह भी दावा किया कि पूर्व सैन्यकर्मियों ने उन्हें बताया कि कई पेट्रोलिंग प्वाइंट, जो कभी भारतीय क्षेत्र में थे, अब पूरी तरह से चीन के नियंत्रण में हैं.
राजस्थान में की गई टिप्पणी को लेकर उत्तर प्रदेश में गांधी के खिलाफ मानहानि का मुकदमा दायर किया गया था और एक निचली अदालत ने उन्हें समन जारी किया था. इसके बाद उन्होंने इलाहाबाद उच्च न्यायालय में याचिका दायर कर इस कार्यवाही और समन को रद्द करने की मांग की थी.