तिरुपति प्रसाद के साथ 2000 KM से फ्रॉड, ना दूध खरीदा और ना मक्खन; उत्तराखंड की डेयरी ने भेजी 6800000 किलो नकली घी
Tirupati Temple Fake Ghee: उत्तराखंड की एक डेयरी ने तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम (TTD) को पांच साल में 250 करोड़ रुपये की लागत से 68 लाख किलो घी की सप्लाई की. प्रसाद के लड्डू की घी में मिलावट का खुलासा होने के बाद, यह हैरान करने देने वाला फ्रॉड अब सीबीआई जांच के घेरे में है.
Tirupati Temple Fake Ghee: उत्तराखंड की एक डेयरी, जिसने कभी कहीं से दूध या मक्खन की एक बूंद की भी खरीदारी नहीं की, उसने आंध्र प्रदेश के तिरुपति मंदिर का संचालन करने वाले तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम (TTD) को पांच साल में 250 करोड़ रुपये की लागत से 68 लाख किलो घी की सप्लाई की. प्रसाद के लड्डू की घी में मिलावट का खुलासा होने के बाद, यह हैरान करने देने वाला फ्रॉड अब सीबीआई जांच के घेरे में है.
चौंकाने वाले खुलासे
TOI की रिपोर्ट के अनुसार, सीबीआई के नेतृत्व वाली स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (SIT) ने आरोपी अजय कुमार सुगंध की गिरफ्तारी के बाद ये चौंकाने वाले डिटेल्स जुटाए हैं. अजय कुमार ने भोले बाबा ऑर्गेनिक डेयरी को मोनोडिग्लिसराइड्स और एसिटिक एसिड एस्टर जैसी अलग-अलग केमिकल की सप्लाई की थी. इसी डेयरी के पास तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम ने लड्डू प्रसादम की तैयारी में इस्तेमाल होने वाले घी की सप्लाई का कॉन्ट्रैक्ट था. एसआईटी ने नेल्लोर की एक अदालत में जमा अपनी रिमांड रिपोर्ट में कई खुलासे किए.
रिकॉर्ड में हेराफेरी
नेल्लोर की एक अदालत को सौंपी गई एसआईटी की रिमांड रिपोर्ट के अनुसार, यह डेयरी उत्तराखंड के भगवानपुर में पोमिल जैन और विपिन जैन चलाते हैं. प्रमोटर्स ने एक नकली घी मैन्युफैक्चरिंग यूनिट स्थापित की और दूध के खरीद व पेमेंट रिकॉर्ड में भी हेराफेरी की.
कैसे डेयरी ने जारी रखी सप्लाई?
इस डेयरी को 2022 में अयोग्य घोषित कर दिया गया और ब्लैक लिस्ट में डाल दिया गया था. लेकिन उसने अन्य डेयरियों के जरिए कॉन्ट्रैक्ट के लिए सफलतापूर्वक बोली लगाकर तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम को घी की सप्लाई जारी रखी. उसने अनुबंधों के लिए बोली लगाने के लिए तिरुपति स्थित वैष्णवी डेयरी, उत्तर प्रदेश स्थित मल गंगा और तमिलनाडु स्थित एआर डेयरी फूड्स का इस्तेमाल किया.
दरअसल, जांच में यह भी पता चला कि टीटीडी ने पिछले साल पशु चर्बी से मिलावटी घी के चार कंटेनरों को वापस कर दिया था, जिनकी सप्लाई कथित तौर पर एआर डेयरी द्वारा की गई थी. यही स्टॉक भोले बाबा डेयरी द्वारा वैष्णवी डेयरी के माध्यम से टीटीडी को वापस भेजा गया था.
लेबल बदलकर वापस भेज दी घी
जांच के दौरान, जब एफएसएसएआई के अधिकारियों और एसआईटी टीम ने डिंडीगुल स्थित एआर डेयरी प्लांट का निरीक्षण किया, तो पता चला कि चार घी टैंकर एआर डेयरी प्लांट में वापस नहीं आए, बल्कि उन्हें वैष्णवी डेयरी प्लांट के पास स्थित एक स्थानीय स्टोन क्रशिंग यूनिट में भेज दिया गया.
अगस्त में वैष्णवी डेयरी, जो अभी भी आंध्र प्रदेश सर्कल कैटेगरी में टीटीडी को घी की सप्लाई करती थी, ने ट्रकों पर लगे लेबल बदल दिए, सिंथेटिक घी की क्वालिटी और गाढ़ापन सुधार दिया और अगस्त 2024 में उसी अस्वीकृत घी को तिरुपति ट्रस्ट को वापस भेज दिया. बाद में उसी घी का इस्तेमाल पवित्र तिरुपति लड्डू प्रसाद बनाने में किया गया.