HDB Financial IPO: शुरुआती निवेशकों की उम्मीदों पर फिरा पानी, 1350 रुपये का शेयर अब 700 में बिकेगा

HDB फाइनेंशियल सर्विसेज के शुरुआती निवेशकों के लिए बुरी खबर है, जिन्होंने कंपनी के पब्लिक होने से पहले शेयर खरीदे थे. कंपनी के अनलिस्टेड फेज में लगभग 49,336 लोगों ने शेयर खरीदे. वे अब नुकसान में हैं. इन्होंने शेयर 1,200 से 1,350 रुपये में खरीदे थे. लेकिन IPO का दाम 700 से 740 रुपये प्रति शेयर तय हुआ है.

शुरुआती निवेशकों की उम्मीदों पर फिरा पानी Image Credit: Canva

HDB Financial IPO: HDB फाइनेंशियल सर्विसेज भारत की एक बड़ी नॉन-बैंकिंग फाइनेंशियल कंपनी है. यह कंपनी 12,500 करोड़ रुपये का IPO ला रही है. यह NBFC सेक्टर का दूसरा सबसे बड़ा IPO है. लेकिन यह उन शुरुआती निवेशकों के लिए बुरी खबर है, जिन्होंने कंपनी के पब्लिक होने से पहले शेयर खरीदे थे. कंपनी के अनलिस्टेड फेज में लगभग 49,336 लोगों ने शेयर खरीदे. वे अब नुकसान में हैं. इन्होंने शेयर 1,200 से 1,350 रुपये में खरीदे थे. लेकिन IPO का दाम 700 से 740 रुपये प्रति शेयर तय हुआ है. यानी, इन निवेशकों को 38% से 48% तक का नुकसान हो सकता है.

उदाहरण से समझे पूरी गणित

उदाहरण के लिए अगर किसी ने 50 हजार शेयर 1,250 रुपये / प्रति शेयर में खरीदे, तो उनकी कीमत 6.25 करोड़ रुपये होगा. अब 740 रुपये के हिसाब से निवेश कि वैल्यू सिर्फ 3.7 करोड़ रुपये रह गई. यानी, करीब 2.5 करोड़ रुपये का नुकसान. ग्रे मार्केट में ये शेयर 1,250–1,300 रुपये में बिक रहे थे. वहां शेयर खरीदने वालों को उम्मीद थी कि IPO में अच्छा मुनाफा होगा. लेकिन कम दाम ने उनकी उम्मीदों को तोड़ दिया. मनी कंट्रोल के हवाले से कंपनी के CEO रमेश जी ने कहा कि आईपीओ का दाम बड़े संस्थानों की सलाह से तय हुआ. ग्रे मार्केट की कीमतों पर कंपनी का कोई कंट्रोल नहीं है.

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दो हिस्से में IPO

IPO में दो हिस्से हैं. पहला 2,500 करोड़ रुपये के नए शेयर और 10,000 करोड़ रुपये का ऑफर फॉर सेल (ओएफएस). HDFC बैंक इस कंपनी की पैरेंट कंपनी है OFS में 13.51 करोड़ शेयर बेचेगी. बैंक ने ये शेयर औसतन 46.4 रुपये में खरीदे थे. अब इन्हें 740 रुपये में बेचकर बैंक को करीब 9,373 करोड़ रुपये का मुनाफा होगा.

RBI के नियमों कारण आ रहा है IPO

RBI के नियमों के कारण यह IPO आ रहा है. अक्टूबर 2022 में आरबीआई ने कहा था कि बड़ी एनबीएफसी कंपनियों को 30 सितंबर 2025 तक स्टॉक मार्केट में लिस्ट होना होगा. इससे वे अपने पैरेंट बैंक पर कम निर्भर होंगी. IPO 25 जून को खुलेगा और 27 जून को बंद होगा. बड़े निवेशक इसमें रुचि दिखा सकते हैं, लेकिन ग्रे मार्केट की उम्मीदों से कम दाम शुरुआती निवेशकों के लिए झटका है.

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