फ्लेक्सिबल पॉलिसी और ऑफिस एनवायरमेंट दूर कर सकते हैं वर्क स्ट्रेस, हर एक के लिए अलग-अलग है तनाव का मतलब

TV9 Network Wellness & HealthTech Summit: पैनल डिस्कशन में फिजिक्सवाला के एचआर सीनियर डायरेक्टर गणेश जाधव, अवाडा इलेक्ट्रो की सीनियर वीपी एचआर ज्योत्सना वासुदेवन और एक्यूटी नॉलेज पार्टनर्स में ग्लोबल हेड टोटल रिवार्ड्स रक्षा अग्रवाल शामिल हुईं.

टीवी9 नेटवर्क वेलनेस और हेल्थटेक समिट में वेलनेस और स्ट्रेस पर हुई चर्चा. Image Credit: Tv9

TV9 Network Wellness & Healthtech Summit: टीवी9 नेटवर्क के वेलनेस और हेल्थटेक समिट में सेक्टर के कई दिग्गजों ने शिरकत की और अपनी बात रखी. इसी क्रम में ‘वेलनेस लूप: काम पर स्ट्रेस साइकिल को तोड़ना’ विषय पर पैनल डिस्कशन में फिजिक्सवाला के एचआर सीनियर डायरेक्टर गणेश जाधव, अवाडा इलेक्ट्रो की सीनियर वीपी एचआर ज्योत्सना वासुदेवन और एक्यूटी नॉलेज पार्टनर्स में ग्लोबल हेड टोटल रिवार्ड्स रक्षा अग्रवाल शामिल हुईं. सभी ने बताया कि वे कैसे अपने-अपने संस्थान में वर्क स्ट्रेस को कम करने के लिए वे काम कर रहे हैं.

वर्क स्ट्रेस

चर्चा की शुरुआत करते हुए रक्षा अग्रवाल ने कहा कि हम अपनी कंपनी में इस बात की पहचान करते हैं कि कोई भी इंडिविजुअल या हम सभी किस तरह के स्ट्रेस से अपनी लाइफ में गुजर रहे हैं. वो स्ट्रेस कुछ भी हो सकता है. जैसे हम कोई काम लगातार और बेहद फोकस के साथ कर रहे हैं. साथ में लगातार ये भी सोच रहे हैं कि आगे अब ये करना है. लेकिन इसे हम किसी के सामने नहीं रख पा रहे हैं, या इस संबंध में बात नहीं कर पा रहे हैं.

हम ऐसा सोच रहे हैं कि बस इस काम से निकल जाएंगे और लिंक्डइंन पर जाकर इस बारे में पोस्ट कर देंगे. क्योंकि ऐसा हमसे उम्मीद की जा रही है. अगर हम ये नहीं कर पा रहे हैं, तो फिर घर जाकर काम में जुट जाते हैं. ये भी हमारी लाइफ एक बड़ा स्ट्रेस बन चुका है.

डिजिटल स्ट्रेस

उन्होंने कहा कि आज के समय में डिजिटल स्ट्रेस काफी देखने और सुनने को मिल रहा है. हमेशा डिजिटल रूप से प्रेजेंट होने और सोशल मीडिया से खुद को अलग नहीं कर पाने का स्ट्रेस है. और ये प्रोफेशनल और पर्सनल दोनों ही लेवल पर है.

फ्लेक्सिबल पॉलिसी से बन सकती है बात

गणेश जाधव ने कहा कि स्ट्रेस से डील करते वक्त हम कोशिश करते हैं कि वर्क प्रेशर स्ट्रेस में न कन्वर्ट हो. उन्होंने कहा कि वर्क प्रेशर का स्ट्रेस में कन्वर्ट होने का सबसे बड़ा फैक्टर है कि किस एनवायरमेंट में आप काम कर रहे हैं. अगर आप अनुकूल वातावरण में काम कर रहे हैं.

आपकी कंपनी की पॉलिसी फ्लेक्सिबल है. क्योंकि अगर किसी पर 10 बजे तक ऑफिस पहुंचने का प्रेशर है, नहीं तो हाफ डे लगेगा. ये भी एक तरह का स्ट्रेस क्रिएट करता है, तो जरूरी है कि आपके ऑपरेशन फ्लेक्सिबल हो, ताकी आप कह सकें कि आप किसी भी समय पर आइए, बस अपना काम खत्म कर दीजिए. हम बस इतना ही चाहते हैं. ये चीजें एक कंफर्ट देंगी, स्ट्रेस को कम करने में कि कम से कम समय पर आने का तो स्ट्रेस नहीं है.

पर्सन स्पेसिफिक होता है स्ट्रेस

ज्योत्सना वासुदेवन ने CTW यानी कॉस्ट टू वेलनेस पर बात की साथ ही उन्होंने पांच रिफ्लेक्शन के बारे में बात की. उन्होंने कहा कि वेलनेस और स्ट्रेस पर्सन स्पेसिफिक होता है. जिन चीजों की वजह से मुझे स्ट्रेस हो सकता है, वो शायद दूसरे के लिए सामान्य हों. जैसे की गणेश जाधव ने ड्राइविंग की बात की. अब मेरे लिए ड्राइविंग स्ट्रेस नहीं है, क्योंकि मुझे ये पसंद है. उन्होंने बताया कि जब वर्क फ्रॉम होम आगे बढ़ गया था, तब मेरी वेलनेस में काफी हद तक गिरावट आई थी, क्योंकि लगातार बैठे रहना और ग्लोबल क्लॉक के आसपास काम करना, मेरे स्वस्थ्य के लिए अच्छा नहीं था.

ज्योत्सना वासुदेवन ने इन पांच रिफ्लेक्शन पर बात की

मोटिवेशन
मैनेजर और लीडर, क्योंकि ये दूसरे वेलनेस एजेंट होते हैं.
कॉम्युनिटी की भूमिका.
एजुकेशन और कॉम्युनिकेशन.
ब्रेकिंग द टैबू

ज्योत्सना ने कहा कि ये पांच चीजें आपकी लाइफ से वर्क स्ट्रेस को दूर कर सकती हैं.

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