BEL को मिले 585 करोड़ के नए ऑर्डर, DRDO के साथ बना रही एंटी ड्रोन टेक्निक; साइबर सुरक्षा पर भी कर रही काम

भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (BEL) को 585 करोड़ रुपये के नए ऑर्डर मिले हैं, जिनमें मिसाइल फायर कंट्रोल सिस्टम, कम्युनिकेशन उपकरण और जैमर शामिल हैं. BEL रक्षा उपकरणों के अलावा साइबर सिक्योरिटी, ड्रोन डिटेक्शन और सेमीकंडक्टर जैसे नए क्षेत्रों में भी विस्तार कर रही है.

भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (BEL) को 585 करोड़ रुपये के नए ऑर्डर मिले हैं

Bharat Electronics Limited Defence Orders: रक्षा क्षेत्र की नवरत्न कंपनी भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड यानी BEL को 585 करोड़ रुपये के नए ऑर्डर मिले हैं. कंपनी ने यह जानकारी शेयर बाजार को दी है. BEL मिसाइल फायर कंट्रोल सिस्टम, कम्युनिकेशन कंपोनेंट और सर्विसेज जैसे सेक्टर में काम करती है. इसके अलावा कंपनी अब साइबर सिक्योरिटी और ड्रोन डिटेक्शन जैसी नई तकनीकों में भी विस्तार कर रही है.

मिले ऑर्डर में ये शामिल

BEL को जो नए ऑर्डर मिले हैं उनमें मिसाइलों के लिए फायर कंट्रोल और साइटिंग सिस्टम, कम्युनिकेशन कंपोनेंट, जैमर, स्पेयर पार्ट्स और सर्विस शामिल हैं. यह ऑर्डर 5 जून के बाद से अब तक कंपनी को मिले हैं. ये सभी उपकरण और सेवाएं रक्षा क्षेत्र में इस्तेमाल होंगी और इनसे देश की सैन्य क्षमता बढ़ेगी.

नए क्षेत्रों में विस्तार कर रही है कंपनी

BEL अब केवल डिफेंस इक्विपमेंट तक ही सीमित नहीं रह गई है. अब यह साइबर सिक्योरिटी, होमलैंड सिक्योरिटी, रेलवे और मेट्रो सॉल्यूशंस तथा अनमैन्ड सिस्टम्स जैसे क्षेत्रों में भी निवेश कर रही है. कंपनी देश की आत्मनिर्भरता को ध्यान में रखते हुए नई तकनीकों पर काम कर रही है.

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ड्रोन डिटेक्शन सिस्टम पर समझौता

BEL ने हाल ही में भारतीय सेना की एयर डिफेंस यूनिट के साथ एक समझौता किया है. इसके तहत एकीकृत ड्रोन डिटेक्शन और इंटरडिक्शन सिस्टम यानी IDDIS विकसित किया गया है. यह सिस्टम DRDO के साथ मिलकर बनाया गया है और इसका उद्देश्य दुश्मन के ड्रोन को पहचान कर मार गिराना है. यह सिस्टम पूरी तरह मेक इन इंडिया पहल के तहत बनाया गया है.

सेमीकंडक्टर क्षेत्र में भी कदम

BEL ने टाटा इलेक्ट्रॉनिक्स के साथ एक MoU भी शामिल किया है. इसका उद्देश्य इलेक्ट्रॉनिक्स और सेमीकंडक्टर समाधान विकसित करना है. यह साझेदारी भारत को सेमीकंडक्टर निर्माण में आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम मानी जा रही है.