आपके नाम की सिम कार्ड से हुआ कोई गलत काम तो आप ही होंगे जिम्मेदार! चाहे उसे कोई और कर रहा हो इस्तेमाल, DoT ने दी वॉर्निंग

दूरसंचार विभाग ने चेतावनी दी है कि यदि आपके नाम पर जारी सिम किसी साइबर फ्रॉड में इस्तेमाल होती है तो कानूनी कार्रवाई आप पर भी हो सकती है. फर्जी दस्तावेजों से ली गई सिम, बदला हुआ IMEI या किसी और को सिम देना अपराध माना जाएगा, जिसमें जेल और भारी जुर्माने का प्रावधान है.

सिम कार्ड Image Credit: canva

अगर आपने किसी को अपनी सिम दे रखी है या आपकी सिम चोरी हो गई है तो आपको सावधान रहने की जरूरत है. क्योंकि दूरसंचार विभाग (DoT) ने मोबाइल यूजर्स के लिए एक बड़ा अलर्ट जारी किया है. दूरसंचार विभाग ने साफ कहा है कि यदि आपके नाम पर ली गई सिम कार्ड किसी साइबर फ्रॉड या किसी गैरकानूनी गतिविधि में इस्तेमाल की जाती है तो कानूनी जिम्मेदारी आप पर भी आ सकती है, चाहे वह सिम आपने खुद इस्तेमाल न की हो. यह चेतावनी दूरसंचार संसाधनों के बढ़ते दुरुपयोग और साइबर अपराध के मामलों को देखते हुए जारी की गई है.

ऐसे मोबाइल का न करें इस्तेमाल

विभाग ने कहा है कि नागरिकों को ऐसे किसी भी मोबाइल डिवाइस का उपयोग नहीं करना चाहिए जिसका IMEI नंबर छेड़छाड़ कर बदल दिया गया हो. कई मॉडेम, सिम बॉक्स, एडजस्टेबल IMEI वाले मॉड्यूल और असेंबल किए गए डिवाइस बाजार में उपलब्ध हैं जो साइबर अपराधियों के लिए बेहद मददगार साबित होते हैं. इन्हें खरीदना या इस्तेमाल करना अब कानूनी जोखिम पैदा कर सकता है.

इन तरीकों से न लें सिम

DoT ने यह भी साफ कहा कि किसी भी व्यक्ति को नकली दस्तावेजों, धोखे या किसी अन्य के पहचान पत्र का दुरुपयोग कर सिम कार्ड नहीं लेना चाहिए. साथ ही, अपने नाम पर जारी किसी सिम को किसी दूसरे व्यक्ति को न दें और न ही उसके उपयोग की अनुमति दें. कई मामले ऐसे सामने आए हैं जहां सिम मालिक को इस बात का अंदाजा ही नहीं था कि उनके नाम से जारी सिम का उपयोग साइबर अपराध में किया जा रहा है और बाद में कानूनी कार्यवाही सिम जारी होने वाली व्यक्ति पर हुई.

क्या है सजा का प्रावधान

दूरसंचार विभाग के अनुसार, टेलीकम्युनिकेशंस एक्ट 2023 में IMEI छेड़छाड़ और टेलीकॉम पहचान बदलने पर सख्त सजा का प्रावधान है. इसमें तीन साल तक की जेल, 50 लाख रुपये तक का जुर्माना या दोनों हो सकता है. इसके अलावा, Telecom Cyber Security Rules 2024 के तहत IMEI बदलने वाले उपकरण रखना या उपयोग करना भी अपराध की श्रेणी में आता है.

ऐसे चेक करें मोबाइल-SIM की डिटेल्स

विभाग ने नागरिकों से कहा है कि वे Sanchar Saathi पोर्टल या मोबाइल ऐप के माध्यम से अपने मोबाइल की IMEI डिटेल्स चेक कर लें. यह पोर्टल डिवाइस का ब्रांड, मॉडल और निर्माता की जानकारी दिखाता है जिससे फर्जी या छेड़छाड़ किए गए उपकरणों की पहचान आसान हो जाती है. इस पोर्टल पर आप अपने नाम से चलने वाली सभी सिम की जानकारी ले सकते हैं. अगर आपके नाम पर बिना आपकी जानकारी की कोई सिम चल रही है तो उसे आप ब्लॉक भी करा सकते हैं.