15 साल बाद जनगणना, सरकार को चाहिए आपकी रसोई, बाथरूम, मोबाइल की कुंडली; जानें कितना होगा खर्च
सरकार की तैयारियों से अब ये तय है कि 2026 की जनगणना जातिगत होने वाली है. इस बार हर भारतीय परिवार से जुड़े कुछ ऐसे सवाल पूछे जाएंगे, जिसकी पूरी लिस्ट इस रिपोर्ट में है. जनगणना की प्रक्रिया में क्या बदल गया है.

Caste Census 2026-27: देश में सबसे बड़ी आंकड़ा जुटाने की कवायद, ‘जनगणना’ अब आखिरकार 15 साल बाद होने जा रही है. लंबे समय से टाले जा रहे 2021 की जनगणना को लेकर सरकार ने अब हरी झंडी दे दी है. इस जनगणना को दो चरणों में आयोजित किया जाएगा और यह भारत की पहली डिजिटल जनगणना होगी. केंद्र सरकार इसी महीने 16 जून को इसके आयोजन की अधिसूचना जारी करेगी.
दो चरणों में होगी जनगणना
पहला चरण 1 अक्टूबर 2026 से उन क्षेत्रों में शुरू होगा जो बर्फबारी या पहाड़ी इलाकों की वजह से बाकी देश से अलग स्थितियों में होते हैं. इसमें जम्मू-कश्मीर, लद्दाख, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड जैसे राज्य शामिल हैं. इसके बाद शेष भारत में जनगणना का दूसरा चरण 1 मार्च 2027 से शुरू होगा.
मूल रूप से जनगणना 2021 दो चरणों में होनी थी- पहला चरण अप्रैल से सितंबर 2020 के बीच और दूसरा चरण फरवरी 2021 में. इसके लिए सारी तैयारियां भी पूरी कर ली गई थीं. लेकिन कोविड-19 महामारी के कारण यह प्रक्रिया स्थगित कर दी गई.
डिजिटल तरीके से होगी जनगणना
इस बार की जनगणना कई मायनों में ऐतिहासिक होगी, क्योंकि यह पूरी तरह डिजिटल माध्यम से की जाएगी. केंद्र सरकार ने इसके लिए मोबाइल ऐप और सेंसस पोर्टल विकसित कर लिया है, जिससे डेटा कलेक्शन से लेकर मॉनिटरिंग और प्रबंधन तक की सारी गतिविधियां ऑनलाइन होंगी. यह न केवल डेटा की सटीकता बढ़ाएगा बल्कि प्रक्रिया को तेज और पारदर्शी भी बनाएगा.
बजट का हिसाब: अब और पहले
इस साल के बजट में जनगणना के लिए सरकार ने 574 करोड़ रुपये की राशि आवंटित की है. हालांकि, उस वक्त जनगणना की तारीख तय नहीं हुई थी. अब डेट सामने आने के बाद सरकार अगले बजट में जनगणना के कुल खर्च की घोषणा कर सकती है.
साल 2019 में जब जनगणना 2021 की तैयारियां पूरी थी तो केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 8,754.23 करोड़ रुपये और राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर (NPR) के लिए 3,941.35 करोड़ रुपये मंजूर किए थे. यानी कुल मिलाकर करीब 12,695.58 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया था.
1881 से अब तक हर 10 साल में जनगणना होती रही है. लेकिन 2021 की प्रक्रिया रुकने से यह श्रृंखला टूटी थी. हालांकि क्योंकि इस बार जनगणना में जाति भी पूछी जाएगी. ऐसे में आपको बता दें कि पिछली जनगणना साल 1931 (ब्रिटिश इंडिया) में हुई थी जब पाकिस्तान और बांग्लादेश भारता का हिस्सा थीं. अब 2026 में यह फिर से शुरू होगी, नए स्वरूप और डिजिटल तकनीक के साथ.
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क्या सवाल पूछे जाएंगे?
इस बार क्योंकि जाति जनगणना कराई जाएगी…लोगों से तमाम सवालों के साथ उनकी जाति भी पूछी जाएगी.
क्रम संख्या | सवाल (सारांश रूप में) |
---|---|
1 | बिल्डिंग का नंबर, लाइन नंबर, जनगणना हाउस नंबर |
2 | दीवार, फर्श और छत की प्रमुख सामग्री |
3 | जनगणना हाउस का प्रयोग – आवासीय, दुकान, स्कूल आदि |
4 | घर की स्थिति – अच्छी, रहने लायक, जर्जर |
5 | परिवार प्रमुख का नाम |
6 | लिंग – पुरुष/महिला/ट्रांसजेंडर |
7 | जाति – अनुसूचित जाति/जनजाति/अन्य |
8 | घर का स्वामित्व – खुद का/किराए पर |
9 | परिवार के पास कितने कमरे हैं (रहने के लिए) |
10 | घर में विवाहित जोड़ों की संख्या |
11 | पानी का मुख्य स्रोत – नल, हैंडपंप, बोरवेल, नदी आदि |
12 | पानी की उपलब्धता – परिसर में/पास में/दूर |
13 | रोशनी का स्रोत – बिजली, केरोसिन, सोलर आदि |
14 | शौचालय की उपलब्धता – निजी/साझा/सार्वजनिक/खुले में |
15 | शौचालय का प्रकार – फ्लश, सेप्टिक टैंक, पिट टॉयलेट आदि |
16 | वेस्ट वाटर निकासी – बंद नाली/खुली नाली/कोई नहीं |
17 | स्नान की सुविधा – बाथरूम/कच्चा/कोई नहीं |
18 | किचन और एलपीजी/पीएनजी की उपलब्धता |
19 | खाना पकाने का मुख्य ईंधन – लकड़ी, एलपीजी, गोबर, सौर ऊर्जा आदि |
20 | रेडियो/ट्रांजिस्टर – पारंपरिक, मोबाइल पर या अन्य |
21 | टेलीविजन – डीडी फ्री डिश, डीटीएच, केबल आदि |
22 | कंप्यूटर/लैपटॉप की उपलब्धता |
23 | मोबाइल/स्मार्टफोन और लैंडलाइन की स्थिति |
24 | साइकल, स्कूटर/मोटरसाइकिल/मोपेड की उपलब्धता |
25 | कार/जीप/वैन की उपलब्धता |
26 | इंटरनेट एक्सेस – लैपटॉप पर, मोबाइल पर या अन्य |
27 | घर में मुख्य अनाज – चावल, गेहूं, ज्वार, बाजरा, मक्का आदि |
28 | मोबाइल नंबर (सिर्फ जनगणना संवाद के लिए) |

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