क्या ITR फाइलिंग की बढ़ेगी तारीख? जानें देर से जमा करने पर कितना लगेगा जुर्माना और ब्याज; क्या है नियम
आकलन वर्ष 2025-26 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) फाइल करने की अंतिम तारीख 15 सितंबर 2025 है. CBDT ने इस बार कोई अतिरिक्त एक्सटेंशन नहीं दी है. जो टैक्सपेयर्स ऑडिट के दायरे में नहीं आते, जैसे व्यक्तिगत करदाता, HUF और छोटे व्यवसाय, उन्हें इस डेडलाइन तक ITR फाइल करना अनिवार्य है.

ITR Filing Date Extension: आकलन वर्ष 2025-26 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) भरने की आखिरी तारीख अब बिल्कुल नजदीक है. सोमवार, 15 सितंबर 2025 को इसकी डेडलाइन खत्म हो जाएगी. खास बात यह है कि लगातार मांग के बावजूद केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (CBDT) ने इस बार टैक्सपेयर्स को कोई नई एक्सटेंशन नहीं दी है. इससे पहले 27 मई 2025 को ही ड्यू डेट को 31 जुलाई से बढ़ाकर 15 सितंबर किया गया था.
यह अंतिम तारीख उन टैक्सपेयर्स के लिए है जिन्हें टैक्स ऑडिट कराने की जरूरत नहीं होती. इसमें व्यक्तिगत करदाता, हिंदू अविभाजित परिवार (HUFs) और वे छोटे व्यवसाय या संस्थाएं शामिल हैं, जो ITR फॉर्म 1 से 4 का इस्तेमाल करते हैं. यानी अगर आप इस श्रेणी में आते हैं और आपने अभी तक रिटर्न फाइल नहीं किया है, तो आपके पास सिर्फ 15 सितंबर तक का ही समय है.
क्या है प्रक्रिया?
ITR फाइल करना अब पूरी तरह ऑनलाइन प्रक्रिया है. इसके लिए टैक्सपेयर्स को इनकम टैक्स पोर्टल पर लॉगिन करना होता है, जिसमें PAN यूजर आईडी और पासवर्ड का इस्तेमाल होता है. लॉगिन करने के बाद ITR फाइलिंग सेक्शन में जाकर एसेसमेंट ईयर चुनना होता है. इसके बाद फाइलिंग स्टेटस और सही ITR फॉर्म सेलेक्ट करना पड़ता है. जानकारी भरने और जांचने के बाद टैक्स की बकाया राशि (अगर है) चुकाकर रिटर्न सबमिट किया जाता है. लेकिन ध्यान रहे कि केवल रिटर्न फाइल करना काफी नहीं है, इसे 30 दिन के भीतर ई-वेरीफाई करना भी जरूरी है. अगर ई-वेरीफाई नहीं किया गया तो रिटर्न अमान्य हो जाएगा, रिफंड पर रोक लग सकती है और कुछ मामलों में जुर्माना भी लग सकता है.
न करें फाइल तो क्या होगा?
अगर आप 15 सितंबर तक रिटर्न फाइल नहीं करते हैं तो आयकर विभाग पेनल्टी लगाएगा. जिनकी सालाना आय 5 लाख रुपये से ज्यादा है, उन पर 5,000 रुपये का जुर्माना लगेगा, जबकि जिनकी आय 5 लाख रुपये से कम है उन्हें 1,000 रुपये का दंड देना होगा. बिलेटेड रिटर्न या रिवाइज्ड रिटर्न 31 दिसंबर 2025 तक भरा जा सकता है. वहीं अपडेटेड रिटर्न (ITR-U) 31 मार्च 2030 तक फाइल करने की सुविधा रहेगी.
ब्याज भी लगेगा?
अगर किसी पर टैक्स बकाया है और उसने समय पर ITR फाइल नहीं किया तो उस पर आयकर अधिनियम की धारा 234A के तहत ब्याज भी लगाया जाएगा. यह ब्याज 1 फीसदी प्रति माह (या माह के हिस्से पर) की दर से डेडलाइन यानी 15 सितंबर से लेकर वास्तविक फाइलिंग की तारीख तक लगाया जाएगा. आंकड़ों की मानें तो अब तक करीब 6 करोड़ लोगों ने ITR फाइल किया है, जबकि पिछले साल 7.28 करोड़ रिटर्न भरे गए थे. यानी इस बार अभी तक पिछली तुलना में लगभग 1.28 करोड़ रिटर्न कम भरे गए हैं. पिछले साल जहां 5.34 करोड़ रिटर्न बिना किसी दिक्कत के प्रोसेस हो गए थे, वहीं करीब 2 करोड़ टैक्सपेयर्स को नोटिस मिले थे. इसकी वजह अधूरी या गलत जानकारी रही थी.
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