अमेरिका में शटडाउन, 7-8 लाख कर्मचारियों की सैलरी अटकी, मेडिकल से लेकर इन सेवाओं पर सीधा असर

अमेरिका में 1 अक्टूबर की आधी रात से सरकरी शटडाउन शुरू हो गया क्योंकि सरकार फंडिंग बिल पास कराने में नाकाम रही. इसकी वजह से अब फेडरल गवर्नमेंट आंशिक रूप से बंद रहेगी और सरकारी कामकाज प्रभावित होगा. देश में सरकारी कर्मचारियों को बिना वेतन के काम करना होगा. आइये जानते हैं कि इससे क्या होगा?

अमेरिका में शटडाउन Image Credit: TV9

अमेरिका में फेडरल सरकार यानी ट्रंप सरकार का आधिकारिक तौर पर शटडाउन हो गया है. राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की रिपब्लिकन सरकार मंगलवार को सीनेट से फंडिंग बिल पास कराने में नाकाम रही. आधी रात को संघीय सरकार की फंडिंग खत्म हो रही है जिसका सीधा मतलब है कि सरकार का कामकाज ठप हो जाएगा. इस गतिरोध के कारण संघीय सेवाएं बाधित होंगी और कई संघीय कर्मचारियों को छुट्टी पर जाना पड़ेगा. कांग्रेस में चल रही गहन बातचीत के बावजूद मंगलवार के बाद सरकार को फंडिंग जारी रखने के लिए डेमोक्रेट्स और रिपब्लिकन के बीच समझौता नहीं हो पाया. व्हाइट हाउस ने इस शटडाउन के लिए डेमोक्रेट्स को जिम्मेदार ठहराया है. यह अमेरिका में पिछले 6 साल का पहला सरकारी शटडाउन है.

शटडाउन टालने की अंतिम कोशिश नाकाम

शटडाउन टालने की अंतिम कोशिश के रूप में अमेरिकी सीनेट में मंगलवार को फंडिंग को लेकर वोटिंग हुई . सीनेट में रिपब्लिकन बिल 55-45 से खारिज हो गया. इसे पास होने के लिए 60 वोट चाहिए थे. डेमोक्रेटिक पार्टी ने आरोप लगाया कि राष्ट्रपति ट्रंप और उनकी रिपब्लिकन पार्टी स्वास्थ्य देखभाल से जुड़ी मांगों को स्वीकार नहीं कर रही हैं इसलिए वो बिल को मंजूरी न देकर सरकार के फंड पर रोक लगा रहे हैं. अब Essential Services को छोड़कर बाकी सभी फेडरल एजेंसियों की गतिविधियां बंद करनी होंगी.

क्या होता है शटडाउन

शटडाउन का मतलब है कि अमेरिका में सरकारी एजेंसियां ​​अस्थायी रूप से बंद हो जाएंगी. इस शटडाउन के तहत, गैर-आवश्यक माने जाने वाले फेडरल (केंद्रीय) कर्मचारियों को बिना वेतन के छुट्टी पर भेज दिया जाएगा. इसके अलावा सैन्य कर्मियों सहित आवश्यक कर्मचारियों को बिना वेतन के काम करना होगा.

क्या होगा असर

अमेरिका में हुए शटडाउन से कुल सरकारी कर्मचारियों में से 40 फीसदी यानी लगभग 7-8 लाख कर्मचारियों को बिना वेतन के टेंपरेरी लीव पर भेजा जा सकता है. इस दौरान कानून-व्यवस्था, सीमा सुरक्षा, मेडिकल और हवाई सेवाओं जैसी जरूरी सेवाएं जारी रहेंगी. इसके अलावा शटडाउन का असर ट्रांसपोर्ट सेवाओं पर भी दिखेगा और कई एयरलाइंस ने उड़ाने लेट होने की आशंका जताई है. अगर शटडाउन लंबा चला तो बाजारों पर भी इसका असर दिख सकता है और अर्थव्यवस्था प्रभावित हो सकती है.

6 साल का पहला शटडाउन

अमेरिका में सरकार चलाने के लिए हर साल बजट पास करना पड़ता है लेकिन अगर सीनेट और हाउस किसी वजह से उससे सहमत नहीं होते हैं तो फंडिंग बिल पास नहीं होता है. ऐसे में सरकारी एजेंसियों को वेतन नहीं मिल पाता है. इससे नॉन-एसेंशियल सेवाएं और दफ्तर बंद हो जाते हैं. पिछले 6 सालों में यह पहला सरकारी शटडाउन है. आंकड़ों के मुताबिक, अमेरिका में 1981 से अब तक 15 बार शटडाउन हो चुका है. पिछली बार यह 22 दिसंबर 2018 को सरकारी शटडाउन शुरू हुआ था. यह शटडाउन 25 जनवरी 2019 तक यानी 35 दिन चला था. यह अमेरिका में चार दशक में सबसे बड़ा शटडाउन था. रिपोर्ट्स के अनुसार, इससे अमेरिका की इकॉनमी को 3 अरब डॉलर की चपत लगी थी.

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