नए साल की पहली मार! Renault ने कीमतें बढ़ाने का किया ऐलान, Kwid से लेकर Triber तक होंगी महंगी
नए साल की शुरुआत के साथ ही कार खरीदारों को झटका लग सकता है. Renault ने जनवरी से अपनी कारों की कीमतें 2 फीसदी तक बढ़ाने का ऐलान किया है, जबकि Mercedes-Benz सहित कई लग्जरी ब्रांड भी दाम बढ़ाने की तैयारी में हैं. कमजोर रुपया और बढ़ती लागत इसकी बड़ी वजह मानी जा रही है.
Renault Mercedes Benz Increase Price: भारत के ऑटोमोबाइल बाजार में नए साल की शुरुआत के साथ ही गाड़ियों के दाम बढ़ने वाले हैं. इस कड़ी में फ्रांस की कार निर्माता कंपनी Renault और लग्जरी सेगमेंट की दिग्गज मर्सिडीज-बेंज (Mercedes-Benz) ने कीमतों में बढ़ोतरी के संकेत दे दिए हैं. बढ़ती इनपुट कॉस्ट, कमजोर रुपया और वैश्विक आर्थिक दबाव अब सीधे ग्राहकों की जेब पर असर डालने वाले हैं.
जनवरी से महंगी होंगी Renault की कारें
Renault India ने साफ किया है कि वह जनवरी से अपनी कारों की कीमतों में 2 फीसदी तक की बढ़ोतरी करने जा रही है. कंपनी भारत में फिलहाल Kwid, Triber और Kiger जैसे पॉपुलर मॉडल बेचती है. रेनो के मुताबिक, यह कीमत बढ़ोतरी अलग-अलग मॉडल और वेरिएंट के हिसाब से लागू होगी. कंपनी ने कहा है कि कच्चे माल की लागत बढ़ने और मौजूदा मैक्रोइकॉनॉमिक्स हालात की वजह से यह फैसला लेना पड़ा है. हालांकि, रेनो का दावा है कि कीमतें बढ़ने के बावजूद वह ग्राहकों को बेहतर क्वालिटी, भरोसेमंद सर्विस और मजबूत वैल्यू फॉर मनी देने के लिए पूरी तरह कमिटेड रहेगी. यानी कंपनी का फोकस कीमतों के साथ-साथ ग्राहक एक्सपीरिएंस को भी बनाए रखने पर रहेगा.
सिर्फ Renault ही नहीं, लग्जरी ब्रांड भी बढ़ा रहे दाम
Renault से पहले कई बड़ी ऑटो कंपनियां कीमतें बढ़ाने का ऐलान कर चुकी हैं. Mercedes-Benz, BMW और Audi जैसे लग्जरी ब्रांड्स ने भी जनवरी से गाड़ियों के दाम बढ़ाने की घोषणा की है. इन कंपनियों के मुताबिक, रुपये की कमजोरी और यूरो के मुकाबले इसके गिरते मूल्य ने लागत को काफी बढ़ा दिया है.
हर तिमाही बढ़ सकते हैं दाम
लग्जरी कार निर्माता Mercedes-Benz India ने तो और भी बड़ा संकेत दे दिया है. कंपनी 2026 में हर तिमाही कीमतें बढ़ाने पर विचार कर रही है. Mercedes-Benz India के मैनेजिंग डायरेक्टर और CEO संतोष अय्यर ने बताया कि यूरो के मुकाबले रुपये की लगातार गिरती कीमत इसकी बड़ी वजह है. कंपनी पहले ही 1 जनवरी 2026 से अपनी कारों की कीमतों में 2 फीसदी तक बढ़ोतरी का ऐलान कर चुकी है. संतोष अय्यर के मुताबिक, 2025 के दौरान यूरो-रुपया एक्सचेंज रेट लगातार 100 रुपये के ऊपर बना रहा, जो ऐतिहासिक औसत से काफी ज्यादा है. यही कारण है कि कंपनी को बार-बार कीमतों में बदलाव करना पड़ सकता है.
ग्राहकों पर बढ़ेगा बोझ
अगर ऐसा ही चलता रहे तो आने वाले महीनों में गाड़ियां खरीदना और महंगा हो सकता है. कमजोर रुपया, बढ़ती मैन्युफैक्चरिंग कॉस्ट और ग्लोबल इकोनॉमिक अनिश्चितता का असर सीधे वाहन कीमतों पर दिख रहा है. ऐसे में जो ग्राहक नई कार खरीदने की योजना बना रहे हैं, उनके लिए साल 2025-26 में बजट थोड़ा और बढ़ाना पड़ सकता है. कुल मिलाकर, नया साल कार खरीदारों के लिए महंगाई का संकेत लेकर आ रहा है और आने वाले समय में ऑटोमोबाइल सेक्टर में कीमतों का दबाव बना रह सकता है.
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