धनतेरस से पहले सोने की कीमतों में जबरदस्त तेजी, इतना पहुंचा 10 ग्राम का भाव; goldorg ने बताया क्यों बढ़ रही ETF में दिलचस्पी
धनतेरस से पहले सोने की कीमतों में जबरदस्त तेजी देखने को मिली है. शुक्रवार को सोना 3,200 रुपये उछलकर 1,34,800 रुपये प्रति 10 ग्राम के रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गया, जबकि चांदी में 7,000 रुपये की गिरावट दर्ज हुई. एलकेपी सिक्योरिटीज के अनुसार, डॉलर इंडेक्स में कमजोरी और अमेरिकी शटडाउन की आशंका ने गोल्ड को सेफ-हेवन बनाया है.
Gold price India: त्योहारों की रौनक और खरीदारी का जश्न अब सोने के बाजार में भी दिखने लगा है. धनतेरस से पहले, शुक्रवार को सोने की कीमतों ने ऐतिहासिक उछाल दर्ज किया और एक नया रिकॉर्ड बनाते हुए 1,34,800 रुपये प्रति 10 ग्राम के शिखर पर पहुंच गया. एक ही दिन में 3,200 रुपये की यह बढ़त मुख्य रूप से ज्वैलर्स और ग्राहकों की जोरदार फेस्टिव खरीदारी का नतीजा मानी जा रही है.
त्योहारी मांग और घरेलू बाजार में जबरदस्त उत्साह
ऑल इंडिया साराफा एसोसिएशन के आंकड़ों के मुताबिक, 99.9 फीसदी शुद्धता वाले सोने ने पिछले सत्र के अंतिम भाव 1,31,600 रुपये को पीछे छोड़ते हुए यह नया कीर्तिमान स्थापित किया. वहीं, 99.5 फीसदी शुद्धता वाला सोना भी पीछे नहीं रहा और यह 3,200 रुपये की तेजी के साथ 1,34,200 रुपये प्रति 10 ग्राम (सभी टैक्स सहित) के अपने अब तक के ऑल टाइम हाई पर पहुंच गया. व्यापारियों का कहना है कि धनतेरस और दिवाली के मौके पर बिक्री में तेजी की उम्मीद में स्टॉकिस्ट और ज्वैलर्स तेजी से नई पोजीशन बना रहे हैं, जिससे बाजार में मांग बढ़ी है.
वैश्विक कारणों ने भी दी रफ्तार
इस रैली के पीछे सिर्फ त्योहारी मांग ही एकमात्र कारण नहीं है. अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सोने को ‘सेफ-हेवन’ के तौर पर देखा जा रहा है. एलकेपी सिक्योरिटीज के रिसर्च एनालिस्ट जतिन त्रिवेदी ने बताया कि अमेरिकी सरकार के शटडाउन और डॉलर इंडेक्स के 99 से नीचे रहने ने सोने में निवेश को बढ़ावा दिया है.
चांदी में दिखी उलटफेर
दिलचस्प बात यह रही कि जहां सोना आसमान छू रहा था, वहीं चांदी के दामों में उलटफेर देखने को मिला. चांदी की कीमतों में 7,000 रुपये की गिरावट आई और यह 1,77,000 रुपये प्रति किलोग्राम पर आ गई. हालांकि, वैश्विक बाजार में चांदी ने भी एक समय 54.48 डॉलर प्रति औंस का रिकॉर्ड स्तर छुआ था.
इतना फीसदी बढ़ा सोना
gold.org के मुताबिक, इस साल जुलाई में सोना रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंच गया था और पिछले साल के मुकाबले 43 फीसदी महंगा हो गया था. इसके बावजूद, सितंबर में खत्म हुई तिमाही में बड़े ज्वैलरी रिटेलर्स का व्यापार बहुत अच्छा रहा. कंपनियों ने अपने व्यापार में 6.5 फीसदी से लेकर 63 फीसदी तक की बढ़त दर्ज की.
रिपोर्ट के मुताबिक, इस सफलता की दो मुख्य वजहें हैं. पहली, त्योहारों का सीजन इस बार पिछले साल की तुलना में जल्दी शुरू हो गया और शादियों की अच्छी-खासी मांग रही. दूसरी, दुकानों ने ग्राहकों को लुभाने के लिए खास प्लान बनाए- जैसे पुराने गहने बदलने के ऑफर, हल्के और छोटे गहने, और नए डिजाइन लॉन्च किए.
गोल्ड ETF में तेजी
सितंबर महीने में भारत में गोल्ड ETF में जबरदस्त उछाल आया है. gold.org की रिपोर्ट के मुताबिक, निवेशकों ने इसमें 8,360 करोड़ रुपये से भी ज्यादा की राशि लगाई, जो अब तक की सबसे बड़ी मासिक निवेश राशि है. सोने की लगातार बढ़ती कीमतों और आर्थिक अनिश्चितता के चलते लोगों ने अपने पैसे को गोल्ड ETF में लगाया. इसकी लोकप्रियता का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि सिर्फ सितंबर में ही 6 लाख से अधिक नए खाते खुले.