Tax Bill 2025: सरकार ने संसद में वापस लिया विधेयक, क्यों उठाया इतना बड़ा कदम; क्या फिर होगी वापसी?

केंद्र सरकार ने इस साल बजट सत्र में संसद में पेश किए The Income-Tax Bill, 2025 को वापस ले लिया है. इस बिल को 13 फरवरी, 2025 को लोकसभा में पेश किए जाने के बाद सलेक्ट कमेटी के पास भेज दिया गया था. यह बिल शुक्रवार को पारित होना था. लेकिन, सरकार ने इसे अचानक वापस ले लिया है.

इनकम टैक्स बिल 2025 Image Credit: money9live

The Income-Tax Bill, 2025 Withdrawn: केंद्र सरकार ने इनकम-टैक्स बिल, 2025 को लोकसभा से वापस ले लिया है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शुक्रवार को संसद में बताया कि सलेक्ट कमेटी की सिफारिशों और ड्राफ्टिंग में सुधारों को शामिल करने के लिए बिल को वापस लिया गया है. इस बिल का अपडेटेड वर्जन 11 अगस्त, सोमवार को सदन में पेश किया जाएगा.

इसके साथ ही उन्होंने कहा कि पुराने और नए ड्राफ्ट के चलते भ्रम की स्थिति से बचने और सभी बदलावों को एक साथ शामिल करने के लिए नया अपडेटेड वर्जन पेश किया जाएगा. यह वर्जन सांसद बैजयंत पांडा की अध्यक्षता वाली सलेक्ट कमेटी की ज्यादातर सिफारिशों को शामिल कर पेश किया जाएगा.

क्यों वापस लिया गया बिल

वित्त मंत्री ने लोकसभा में बताया कि इस बिल की भाषा, वाक्यों के सामंजस्य और क्रॉस-रेफरेंस में सुधार जरूरी थे. इसे लेकर कई सुझाव मिले, जिसकी वजह से बिल को अपडेट करना जरूरी है, लिहाजा इस बिल को वापस लेकर, एक अपडेटेड वर्जन पेश किया जाएगा, ताकि इस बिल को लेकर सरकार की विधायी मंशा सही तरीके से व्यक्त हो सके.

क्या थीं सलेक्ट कमेटी की सिफारिशें?

संपत्ति का वार्षिक मूल्य: बिल के मौजूदा ड्राफ्ट के क्लॉज 21 में मौजूद अस्पष्टता को दूर करने के लिए “इन नॉर्मल कोर्स” शब्द को हटाने और वास्तविक किराया तथा अनुमानित किराये के बीच स्पष्ट तुलना जोड़ने की सिफारिश की गई है.
हाउस प्रॉपर्टी से आय में कटौती: ड्राफ्ट बिल के क्लॉज 22 में प्रस्तावित 30% मानक कटौती की गणना नगर निगम कर घटाने के बाद करने की स्पष्ट व्यवस्था, और प्री-कंस्ट्रक्शन इंटरेस्ट कटौती को किराये पर दी गई संपत्ति पर भी लागू करने का सुझाव दिया गया है.
वेतन से कटौती: मसौदे के क्लॉज 19 के शेड्यूल VII में गैर-कर्मचारियों को मिलने वाली पेंशन पर भी ‘इनकम फ्रॉम अदर सोर्सेज’ में छूट देने का सुझाव दिया गया है.
कमर्शियल प्रॉपर्टी: बिल के मसौदे के क्लॉज 20 में अस्थायी रूप से खाली पड़ी व्यावसायिक संपत्ति को हाउस प्रॉपर्टी आय के रूप में टैक्स से बचाने के लिए “occupied” शब्द में बदलाव की शिफारिश की गई है. कमेटी का मानना है कि ये बदलाव टैक्स प्रणाली को निष्पक्ष और स्पष्ट बनाएंगे तथा विवाद की संभावनाएं घटाएंगे.

इनकम-टैक्स बिल, 2025 में क्या खास?

13, फरवरी, 2025 को लोकसभा में पेश किए गए इस बिल के जरिये सरकार को देश के डायरेक्ट टैक्सेसन से जुड़े 6 दशक पुराने कानून को बदलना है. यह मौजूदा 298 धाराओं वाले इनकम टैक्स एक्ट, 1961 को एक संक्षिप्त, सरल भाषा वाले कानून में बदलने का प्रयास है. यह मौजूदा कानून की तुलना में करीब 50% छोटा होगा. सरकार के दावे के मताबिक इस बिल की प्रमुख विशेषताओं में सरल भाषा सबसे अहम है. इसके अलावा कम धाराएं, कम ‘प्रोविजो’ और ‘एक्सप्लेनेशन’, तथा समान कटौतियों का एकीकरण किया गया है.
कम पेनल्टी: छोटे उल्लंघनों पर कम जुर्माना, ताकि टैक्स प्रणाली अधिक ‘टैक्सपेयर-फ्रेंडली’ हो.
कोई नया टैक्स नहीं: स्लैब, कैपिटल गेन नियम और आय वर्गीकरण में कोई बदलाव नहीं.
कम मुकदमेबाजी: “पहले भरोसा, बाद में जांच” दृष्टिकोण और 300 से अधिक पुरानी धाराओं को हटाना.
आधुनिक प्रशासन: सीबीडीटी को अधिक अधिकार, डिजिटल मॉनिटरिंग और ‘टैक्स ईयर’ की अवधारणा.
बिल में 23 अध्याय, 536 धाराएं और 16 शेड्यूल थे, जिसमें कई प्रावधानों को टेबल और फॉर्मुला के जरिये सरल किया गया है.