BPCL, IOC, HPC समेत कई दिग्गज क्लाइंट से एकमुश्त मिला मेगा ऑर्डर, कंपनी शेयरों पर टूटे निवेशक; 16% की दिखी तेजी

एक घरेलू केमिकल कंपनी के शेयरों में आज जोरदार तेजी दर्ज की गई. निवेशक इस स्टॉक में टूट पड़े हैं, जबकि कंपनी को लेकर बाजार में नई चर्चा शुरू हो गई है. जानिए आखिर ऐसा कौन-सा बड़ा कदम उठाया गया जिसने कंपनी के शेयरों में जबरदस्त उछाल ला दिया.

ऑयल और गैस स्टॉक Image Credit: FreePik

ईंधन में एथनॉल मिश्रण (Ethanol Blending) को लेकर सरकार की नीतियों के बीच एथनॉल प्रोडक्शन कंपनी Gulshan Polyols Ltd. के शेयरों में आज जबरदस्त तेजी देखी गई. कंपनी को ऑयल डिस्ट्रीब्यूशन कंपनियों (OMCs) से 1,184.86 करोड़ रुपये का बड़ा ऑर्डर मिलने के बाद इसके शेयर 16 प्रतिशत तक उछले. निवेशकों का उत्साह इतना रहा कि कारोबार के दौरान शेयर ने 154.80 रुपये का स्तर छू लिया, जो पिछले बंद भाव 141.90 रुपये की तुलना में करीब 9.09 प्रतिशत ज्यादा रहा. कंपनी का मौजूदा मार्केट कैप करीब 962.69 करोड़ रुपये है.

तेल कंपनियों से मिला बड़ा एथनॉल सप्लाई ऑर्डर

गुलशन पॉलीओल्स लिमिटेड को भारतीय तेल निगम (IOC), भारत पेट्रोलियम (BPCL), हिंदुस्तान पेट्रोलियम (HPCL) समेत कई तेल कंपनियों से एथनॉल आपूर्ति का बड़ा ऑर्डर मिला है. यह कॉन्ट्रैक्ट 1,75,652 किलोलीटर एथनॉल (ESY 2025-26) की सप्लाई के लिए है, जिसकी कुल कीमत 1,184.86 करोड़ रुपये है. इस खबर के बाद से बाजार में कंपनी को लेकर पॉजिटिव सेंटीमेंट देखा जा रहा है.

एथनॉल सेक्टर में तेजी की रफ्तार

भारत में एथनॉल मिश्रण की रफ्तार लगातार बढ़ रही है. 30 जून 2025 तक देश में पेट्रोल में एथनॉल का मिश्रण स्तर 18.93 प्रतिशत तक पहुंच गया. 2024 में यह सेक्टर लगभग 3 अरब डॉलर का था, जो 2033 तक 10.07 अरब डॉलर तक पहुंचने का अनुमान है. इस दौरान यह इंडस्ट्री 14.4 फीसदी की वार्षिक वृद्धि दर (CAGR) से आगे बढ़ने की उम्मीद है.

गुलशन पॉलीओल्स के पास मध्य प्रदेश में 60 KLPD और 500 KLPD, जबकि असम में 250 KLPD की एथनॉल प्रोडक्शन कैपेसिटी है. कंपनी का टारगेट FY26 में अपने एथनॉल सेगमेंट को पूरी क्षमता पर चलाते हुए 25 करोड़ लीटर उत्पादन का है.

विविध उत्पादों से मजबूत पकड़

गुलशन पॉलीओल्स सिर्फ एथनॉल तक सीमित नहीं है. कंपनी सोर्बिटोल, लिक्विड ग्लूकोज, कैल्शियम कार्बोनेट और फ्रक्टोज सिरप जैसे विशेष केमिकल भी बनाती है. गुजरात और उत्तर प्रदेश स्थित इसके यूनिट्स अंतरराष्ट्रीय बाजार में निर्यात भी करते हैं. वहीं मिनरल प्रोसेसिंग डिविजन उत्तर प्रदेश, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश, पश्चिम बंगाल और मध्य प्रदेश में फैला है.

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बढ़ता मुनाफा और स्थिर प्रदर्शन

कंपनी ने वित्त वर्ष 2026 की पहली तिमाही में 30 प्रतिशत की राजस्व वृद्धि दर्ज की. आय 455 करोड़ रुपये से बढ़कर 593 करोड़ रुपये हो गई, जबकि शुद्ध लाभ भी 10 करोड़ से बढ़कर 13 करोड़ रुपये पर पहुंच गया. हालांकि, कंपनी का ग्रेन सेगमेंट फिलहाल घरेलू बाजार में सोर्बिटोल और स्टार्च की अधिक आपूर्ति के चलते दबाव में है, लेकिन एथनॉल और मिनरल सेगमेंट में स्थिरता से कंपनी का ओवरऑल पर्फॉर्मेंस मजबूत बना हुआ है.

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