रूस ने छीनी यूक्रेन की जगह, बना भारत का नंबर-1 सूरजमुखी तेल सप्लायर, 4 साल में 56% बढ़ाई हिस्सेदारी

भारत के सूरजमुखी तेल के आयात में रूस ने ऐतिहासिक उछाल दर्ज किया है. पिछले चार वर्षों में आयात 12 गुना बढ़कर रूस को भारत का शीर्ष आपूर्तिकर्ता बना दिया है, जिसने यूक्रेन की जगह ले ली. 2021 में भारत के कुल सूरजमुखी तेल आयात में रूस का हिस्सा 10 फीसदी था. 2024 में ये 56 फीसदी हो गया.

Top Sunflower Oil Supplier Image Credit: Canva/ Money9

Top Sunflower Oil Supplier: रूस अब भारत को बहुत ज्यादा सूरजमुखी तेल भेज रहा है. पिछले चार साल में यह आयात 12 गुना बढ़ा है. अब रूस भारत का नंबर-1 सप्लायर बन चुका है, पहले यह जगह यूक्रेन की थी. युद्ध शुरू होने के बाद यूक्रेन का तेल ज्यादातर यूरोप जा रहा है. रूस के बंदरगाह आसानी से खुले हैं, इसलिए भारत के लिए वह भरोसेमंद है. भारत में तीन सबसे ज्यादा इस्तेमाल होने वाले तेलों में सूरजमुखी भी है. देश अपनी कुल जरूरत का सिर्फ 5फीसदी तेल खुद बनाता है. बाकी 95 फीसदी आयात करता है.

4 साल में 46 फीसदी बढ़ाई हिस्सेदारी

2021 में भारत के कुल सूरजमुखी तेल आयात में रूस का हिस्सा 10फीसदी था. 2024 में ये 56 फीसदी हो गया. 2024 में भारत ने रूस से 2.09 मिलियन टन सूरजमुखी तेल आयात किया. 2021 में ये सिर्फ 175,000 टन था. ये 12 गुना बढ़ोतरी है.

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रूस की कैसे बढ़ी हिस्सेदारी?

युद्ध से पहले यूक्रेन भारत का सबसे बड़ा सप्लायर था. अब यूक्रेन अपना तेल सड़क और रेल से यूरोप भेज रहा है क्योंकि रूस ने Black Sea के बंदरगाह ब्लॉक कर दिए. इससे भारत आने का खर्च बहुत बढ़ गया. युद्ध से पहले यूक्रेन 90 फीसदी कृषि उत्पाद बंदरगाह से निर्यात करता था. इंटरनेशनल एसोसिएशन ऑफ सनफ्लावर ऑयल के प्रेसिडेंट संदीप बजोरिया ने ET को बताया कि रूस हमें कम कीमत पर तेल मुहैया करा रहा है, जो भारतीय बाजार को चाहिए.

सूरजमुखी तेल के आयात में गिरवाट

भारत अपनी कुल कुकिंग ऑयल (Cooking Oil) जरूरत का 60फीसदी आयात से पूरा करता है. पाम ऑयल कुल कुकिंग ऑयल का 50 फीसदी है. सोयाबीन और सूरजमुखी तेल दूसरे और तीसरे नंबर पर हैं. बजोरिया ने बताया कि पहले सूरजमुखी तेल सोयाबीन से बहुत पीछे था लेकिन रूसी सप्लाई ने गैप कम कर दिया. इस साल सूरजमुखी तेल आयात 13फीसदी कम होगा क्योंकि कीमत बढ़ गई. सूरजमुखी तेल पर पाम और सोयाबीन से 150 डॉलर प्रति टन ज्यादा है. लेकिन रूस का हिस्सा 55-60फीसदी ही रहेगा. सितंबर में एसईए की टीम रूस गई ताकि रिश्ते मजबूत हों.

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