इन 5 सरकारी बैंकों में हिस्सेदारी घटाएगी सरकार, कुल 45000 करोड़ का मेगा प्लान, LIC-SBI भी जुटाएंगे पैसा

सरकार वित्त वर्ष 2025-26 में सार्वजनिक बैंकों के लिए 45,000 करोड़ की पूंजी बाजार से जुटाने की तैयारी कर रही है, जिसमें SBI अकेले 20,000 करोड़ QIP से जुटाएगा. इसके साथ ही LIC और पांच अन्य बैंकों में हिस्सेदारी बेचने की योजना भी है.

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण Image Credit:

Public Sector Bank News: भारत सरकार पब्लिक सेक्टर के बैंकों को लेकर एक बड़ी योजना पर काम कर रही है. Moneycontrol की रिपोर्ट के मुताबिक, सरकार वित्त वर्ष 2025–26 में कुल 45,000 करोड़ रुपये की पूंजी बाजार से जुटाने जा रही है, जिसके लिए सरकार पांच पब्लिक सेक्टर के बैंकों में अपनी हिस्सेदारी घटाएगी. यह राशि Qualified Institutional Placement (QIP) के जरिए लाई जाएगी, जिसमें एलआईसी और एसबीआई की भागीदारी रहेगी. इस प्रक्रिया की शुरुआत देश का सबसे बड़ा पब्लिक सेक्टर बैंक स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI) करेगा, जिसे अकेले 20,000 करोड़ रुपये की पूंजी जुटाने की मंजूरी मिल चुकी है. SBI यह फंड लंबे समय के लिए बॉन्ड जारी करके जुटाएगा, जबकि एलआईसी अपनी हिस्सेदारी बेचकर सहयोग करेगी.

इन बैंकों की हिस्सेदारी घटाने पर है नजर?

बता दें, सरकार सिर्फ पूंजी जुटाने तक ही नहीं रुक रही है, बल्कि कुछ बैंकों में अपनी हिस्सेदारी घटाने की भी योजना बना रही है. इसके लिए Offer for Sale (OFS) के जरिए डिसइनवेस्टमेंट किया जाएगा. जिन पांच बैंकों को इसके लिए शॉर्टलिस्ट किया गया है, उनमें बैंक ऑफ महाराष्ट्र, इंडियन ओवरसीज बैंक, यूको बैंक, सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया, पंजाब एंड सिंध बैंक हैं. इन बैंकों की हिस्सेदारी घटाने को लेकर 8 जुलाई को Inter-Ministerial Group (IMG) की बैठक हुई थी, जिसमें कानूनी और वित्तीय सलाहकारों की नियुक्ति पर फैसला लिया गया है.

LIC में भी हिस्सेदारी की बिक्री की योजना

सरकार Life Insurance Corporation of India (LIC) में भी हिस्सेदारी बेचने की तैयारी कर रही है. यह बिक्री भी OFS के जरिए होगी. गौरतलब है कि यह 2022 में LIC के आईपीओ के बाद पहला मौका होगा जब सरकार इसमें अपनी हिस्सेदारी कम करेगी.

SEBI नियमों का पालन, बढ़ेगी पब्लिक होल्डिंग

सरकार अब सभी लिस्टेड पब्लिक बैंकों को SEBI के न्यूनतम 25 फीसदी सार्वजनिक हिस्सेदारी के नियम का पालन करवाने की दिशा में काम कर रही है. बैंक ऑफ महाराष्ट्र इस साल यह स्तर हासिल कर लेगा. हालांकि बाकी चार बैंक इंडियन ओवरसीज बैंक, यूको बैंक, सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया और पंजाब एंड सिंध बैंक को यह लक्ष्य हासिल करने के लिए 2026–27 तक का समय मिल सकता है.

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