जहां पहले ₹2000 मिलते थे, अब ₹3000… IndiGo ने बढ़ाई पायलटों की कमाई, 2026 से अलाउंस में बड़ा उछाल
IndiGo ने साफ किया है कि कैप्टन और फर्स्ट ऑफिसर के लिए नए भत्ते 1 जनवरी 2026 से लागू होंगे. कंपनी ने यह जानकारी एक आधिकारिक बयान में दी है. इसमें घरेलू लेओवर, नाइट ड्यूटी, डेडहेड, ट्रांजिट और टेल-स्वैप जैसे भत्तों को बढ़ाया गया है.
IndiGo hikes cockpit crew allowances: देश की सबसे बड़ी एयरलाइन IndiGo एक बार फिर चर्चा में है. हाल ही में भारी उड़ान रद्द होने और यात्रियों की परेशानी के बाद अब कंपनी ने अपने पायलटों के लिए बड़ा फैसला लिया है. जनवरी 2026 से IndiGo अपने कॉकपिट क्रू यानी कैप्टन और फर्स्ट ऑफिसर को पहले से ज्यादा भत्ता देगी. यह फैसला ऐसे समय पर आया है जब एयरलाइन को इस महीने करीब 4,500 उड़ानें रद्द करनी पड़ी थीं. इन रद्द उड़ानों से लाखों यात्रियों को परेशानी झेलनी पड़ी.
हालात इतने बिगड़ गए कि केंद्र सरकार को पायलटों के नाइट ड्यूटी नियमों में भी ढील देनी पड़ी. अब IndiGo का कहना है कि पायलटों की बात सुनने और उनके काम के दबाव को समझने के बाद यह बदलाव किया गया है. कंपनी को उम्मीद है कि इससे पायलटों का मनोबल बढ़ेगा और ऑपरेशन ज्यादा स्थिर होगा.
जनवरी 2026 से लागू होंगे नए नियम
Reuters की रिपोर्ट के मुताबिक IndiGo ने साफ किया है कि कैप्टन और फर्स्ट ऑफिसर के लिए नए भत्ते 1 जनवरी 2026 से लागू होंगे. कंपनी ने यह जानकारी एक आधिकारिक बयान में दी है. इसमें घरेलू लेओवर, नाइट ड्यूटी, डेडहेड, ट्रांजिट और टेल-स्वैप जैसे भत्तों को बढ़ाया गया है. अगर किसी घरेलू लेओवर की अवधि 10 घंटे 1 मिनट से 24 घंटे तक होती है, तो अब कैप्टन को 3,000 रुपये मिलेंगे. पहले यह रकम 2,000 रुपये थी.
वहीं फर्स्ट ऑफिसर को अब 1,500 रुपये मिलेंगे, जो पहले 1,000 रुपये थे. अगर लेओवर 24 घंटे से ज्यादा का होता है, तो हर अतिरिक्त घंटे के लिए कैप्टन को 150 रुपये मिलेंगे. पहले यह 100 रुपये थे. फर्स्ट ऑफिसर को अब 75 रुपये मिलेंगे, जो पहले 50 रुपये थे.
| भत्ते का प्रकार | पहले (पुराना नियम) | बाद में (1 जनवरी 2026 से) |
|---|---|---|
| घरेलू लेओवर (10:01 से 24 घंटे) | कैप्टन: ₹2,000 फर्स्ट ऑफिसर: ₹1,000. | कैप्टन: ₹3,000 फर्स्ट ऑफिसर: ₹1,500. |
| 24 घंटे से ज्यादा लेओवर (प्रति घंटा) | कैप्टन: ₹100. फर्स्ट ऑफिसर: ₹50. | कैप्टन: ₹150. फर्स्ट ऑफिसर: ₹75. |
| डेडहेड अलाउंस (प्रति ब्लॉक ऑवर) | कैप्टन: ₹3,000. फर्स्ट ऑफिसर: ₹1,500. | कैप्टन: ₹4,000. फर्स्ट ऑफिसर: ₹2,000. |
| नाइट अलाउंस | 1.5x मल्टीप्लायर से सेक्टर ऑवर गिने जाते थे. | कैप्टन: ₹2,000 प्रति नाइट ऑवर. फर्स्ट ऑफिसर: ₹1,000 प्रति नाइट ऑवर. |
| टेल-स्वैप अलाउंस | कोई प्रावधान नहीं था. | कैप्टन: ₹1,500 प्रति टेल स्वैप. फर्स्ट ऑफिसर: ₹750 प्रति टेल स्वैप. |
| ट्रांजिट अलाउंस (लाउंज न होने पर) | कैप्टन और फर्स्ट ऑफिसर: ₹500 (अगर ठहराव 2 घंटे से ज्यादा). | कैप्टन: ₹1,000 प्रति घंटा. फर्स्ट ऑफिसर: ₹500 प्रति घंटा. |
डेडहेड और नाइट अलाउंस में भी बढ़ोतरी
डेडहेड अलाउंस यानी जब पायलट यात्री की तरह सफर करता है, उस दौरान मिलने वाला भत्ता भी बढ़ा दिया गया है. अब हर तय ब्लॉक ऑवर के लिए कैप्टन को 4,000 रुपये मिलेंगे. पहले यह 3,000 रुपये थे. फर्स्ट ऑफिसर को अब 2,000 रुपये मिलेंगे, जो पहले 1,500 रुपये थे. नाइट अलाउंस के नियम भी बदले गए हैं. पहले रात के घंटों को 1.5 गुना मानकर सेक्टर ऑवर गिने जाते थे. अब सीधे कैप्टन को हर नाइट ऑवर के लिए 2,000 रुपये और फर्स्ट ऑफिसर को 1,000 रुपये मिलेंगे.
टेल-स्वैप अलाउंस पहली बार लागू
IndiGo ने पहली बार टेल-स्वैप अलाउंस शुरू किया है. इसके तहत हर टेल स्वैप पर कैप्टन को 1,500 रुपये और फर्स्ट ऑफिसर को 750 रुपये मिलेंगे. हालांकि यह सुविधा डेडहेड से डेडहेड सेक्टर पर लागू नहीं होगी. पहले अगर किसी स्टेशन पर लाउंज नहीं होता था और रुकने का समय 2 घंटे से ज्यादा होता था, तो दोनों को 500 रुपये मिलते थे. अब कैप्टन को हर घंटे के हिसाब से 1,000 रुपये और फर्स्ट ऑफिसर को 500 रुपये मिलेंगे. यह अलाउंस 90 मिनट से ज्यादा के हर घरेलू ठहराव पर लागू होगा. इसकी सीमा 4 घंटे तक होगी. उसके बाद होटल दिया जाएगा.
ये भी पढ़ें- गिरावट के बावजूद ₹2.28 लाख मुनाफे का संकेत दे रहा GMP, सब्सक्रिप्शन में भी जोश; जानें कब-तक लगा सकते हैं IPO में दांव