क्या ₹5 के पान मसाले में ₹4 लाख का केसर? जन्मदिन पर सलमान खान के विज्ञापन पर बवाल; कंज्यूमर कोर्ट ने किया तलब!
राजस्थान के Kota Consumer Commission में एक शिकायत दर्ज की गई है. शिकायतकर्ता हैं एडवोकेट इंद्र मोहन सिंह हनी. उन्होंने आरोप लगाया है कि राजश्री पान मसाला और अभिनेता सलमान खान अपने विज्ञापन के जरिए लोगों को गुमराह कर रहे हैं.
Pan masala ads case: बॉलीवुड सितारों के विज्ञापन अक्सर लोगों के भरोसे से जुड़े होते हैं. जब कोई बड़ा अभिनेता किसी प्रोडक्ट का प्रचार करता है, तो आम लोग उसे सुरक्षित और भरोसेमंद मान लेते हैं. लेकिन यही भरोसा अब सवालों के घेरे में है. राजस्थान के कोटा में एक Consumer Court ने पान मसाला विज्ञापन से जुड़े एक मामले में बड़ा कदम उठाया है. अदालत ने Salman Khan को खुद अदालत में पेश होने का आदेश दिया है.
इतना ही नहीं, अदालत ने उनके नाम से जमा किए गए पावर ऑफ अटॉर्नी पर किए गए हस्ताक्षर की फॉरेंसिक जांच कराने को भी कहा है. यह मामला सिर्फ एक विज्ञापन का नहीं, बल्कि जनता को गुमराह करने, युवाओं को नुकसान पहुंचाने और कानूनी दस्तावेजों की सच्चाई से जुड़ा हुआ है. अब सबकी नजरें 20 जनवरी की सुनवाई पर टिकी हैं, जहां यह तय होगा कि सच्चाई क्या है और जिम्मेदारी किसकी बनती है.
क्या है पूरा मामला?
राजस्थान के Kota Consumer Commission में एक शिकायत दर्ज की गई है. शिकायतकर्ता हैं एडवोकेट इंद्र मोहन सिंह हनी. उन्होंने आरोप लगाया है कि राजश्री पान मसाला और अभिनेता सलमान खान अपने विज्ञापन के जरिए लोगों को गुमराह कर रहे हैं. शिकायत के मुताबिक, पान मसाला को “केसर युक्त इलायची” और “केसर युक्त पान मसाला” बताकर प्रचार किया जा रहा है, जबकि हकीकत में यह संभव नहीं लगता.
₹5 के पाउच में ₹4 लाख किलो वाला केसर?
शिकायतकर्ता का सबसे बड़ा सवाल यही है. उनका कहना है कि जब बाजार में केसर की कीमत करीब ₹4 लाख प्रति किलो है, तो ₹5 के पान मसाला पाउच में केसर कैसे हो सकता है? उनका आरोप है कि ऐसे विज्ञापन युवाओं को आकर्षित करते हैं और उन्हें पान मसाला जैसे हानिकारक प्रोडक्ट की ओर ले जाते हैं, जिससे कैंसर जैसी गंभीर बीमारियों का खतरा बढ़ता है.
हस्ताक्षर पर उठे सवाल
9 दिसंबर को हुई पिछली सुनवाई में शिकायतकर्ता ने बड़ा दावा किया. उन्होंने कहा कि सलमान खान की ओर से अदालत में जो पावर ऑफ अटॉर्नी और जवाब दाखिल किया गया है, उस पर किए गए हस्ताक्षर संदिग्ध हैं. उनका कहना है कि ये हस्ताक्षर सलमान खान के असली हस्ताक्षरों से मेल नहीं खाते, जो उन्होंने पहले जोधपुर जेल और वहां की अदालत में किए थे.
अदालत का सख्त आदेश
इन आपत्तियों को गंभीर मानते हुए Kota Consumer Court ने शुक्रवार को आदेश दिया कि सलमान खान के हस्ताक्षरों की फॉरेंसिक जांच कराई जाए. इसके साथ ही अदालत ने सलमान खान को 20 जनवरी को खुद अदालत में पेश होने का निर्देश दिया है. जिस वकील आरसी चौबे ने पावर ऑफ अटॉर्नी और जवाब को नोटराइज किया है, उन्हें भी उसी दिन अदालत में उपस्थित रहने को कहा गया है.
अब आगे क्या?
शिकायतकर्ता इंद्र मोहन सिंह ने कहा है कि वे इस मामले में दस्तावेजों की जालसाजी को लेकर अलग से केस दर्ज कराने की भी तैयारी कर रहे हैं. अब 20 जनवरी की सुनवाई अहम होगी. इस दिन यह साफ हो सकता है कि विज्ञापन में किया गया दावा कितना सही है और दस्तावेजों पर किए गए हस्ताक्षर असली हैं या नहीं.
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