अपने लिए कैसे चुनें Best Mutual Fund, किन बातों का रखें ध्यान, ये 6 बातें भूले तो हो जाएगा भारी-भरकम नुकसान

Mutual Fund निवेश जोखिमों के अधीन है. यह चेतावनी आपने कई बार सुनी होगी, लेकिन सही निवेश केवल चेतावनी समझने से नहीं होता. AUM, Expense Ratio, Exit Load, टैक्स और रिटर्न जैसे कई अहम फैक्टर होते हैं, जिनका ध्यान रखना जरूरी है. ये बातें सही फैसले में मदद करती हैं और जोखिम को काफी हद तक कम कर सकती हैं.

Consier before investment in mutual fund Image Credit: @AI/Money9live

Best Mutual Fund: Mutual Fund निवेश जोखिमों के अधीन है. इस तरह की चेतावनी आपने Advertisement में जरूर सुनी होगी और Investment से पहले इसका ध्यान भी रखते होंगे. लेकिन क्या आपको पता है कि Mutual Fund में निवेश करने से पहले और किन-किन बातों का ध्यान रखना जरूरी होता है? यानी वे बातें, जिनका ध्यान रखने से भविष्य में नुकसान का खतरा और कम हो सकता है.

Assets Under Management

जिस भी कंपनी के फंड में आप SIP या Lumpsum शुरू करने की सोच रहे हैं, उस कंपनी का पहले Assets Under Management जरूर देखें. जितना ज्यादा AUM होता है. इसका मतलब है कि कंपनी अनुभवी और मंझे हुए फंड मैनेजर को हायर करके आपके पैसे को मैनेज करती है. इससे आपको नुकसान होने के चांस कम होते हैं. कुल मिलाकर बोलें तो ज्यादा AUM कम जोखिम और कम AUM ज्यादा जोखिम

Expense Ratio

Expense Ratio यह बताता है कि आपके फंड को मैनेज करने के लिए कंपनी हर साल कितना चार्ज करती है. ज्यादा Expense Ratio होने का मतलब है कि हर साल आपको कंपनी को अधिक चार्ज देने होंगे. इसलिए निवेश से पहले Expense Ratio का ध्यान रखें.

Exit Load

अगर आप Mutual Fund से निर्धारित समय से पहले पैसा निकालते हैं, तो आप पर एक तरह का जुर्माना लगता है, जिसे Exit Load कहते हैं. मान लिया जाए कि किसी फंड में 1 साल का Lock-In Period है, तो आप उससे पहले अपना पैसा Exit Load बिना चुकाए नहीं निकाल सकते. यह आमतौर पर 1% के आसपास होता है.

उदाहरण के लिए, अगर आपने 1 लाख रुपये निवेश किया है और तय समय से पहले पैसा निकालते हैं, तो आपको 1,000 रुपये जुर्माना देना होगा और कंपनी आपको 99,000 रुपये ही देगी.

Stamp Duty

Mutual Fund में Stamp Duty सरकार द्वारा लगाई जाने वाली छोटी सी फीस होती है, जो तब कटता है जब आप नया निवेश करते हैं. ध्यान रहे कि यह पैसा Investment के समय कटता है, न कि पैसे निकालते समय. यह एक नॉमिनल चार्ज होता है, जैसे 0.005%. अगर आपने 1 लाख रुपये का निवेश किया है, तो केवल 5 रुपये ही कटेंगे.

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STCG & LTCG

अगर आपने मुनाफा कमाया है, तो सरकार को टैक्स भी देना होगा. STCG (Short Term Capital Gain Tax) & LTCG (Long Term Capital Gain Tax) मुनाफा रिडीम करने के समय कटता है. ये भी दो तरह से कटता है. अगर आपने 1 साल से पहले ही अपने पैसे निकाल लिए, तो मुनाफे पर आपको 20% की दर से STCG होगा. लेकिन 1 साल बाद पैसे निकालने पर 12.5% की दर से LTCG टैक्स ही लगता है.

कितना मिलेगा रिटर्न?

अलग-अलग फंड कैटेगरी में Time period के हिसाब से रिटर्न अलग-अलग होता है. हाई रिस्क – हाई रिवॉर्ड वाला फॉर्मूला आप जानते ही होंगे. जितना ज्यादा रिस्क लेंगे, उतना ज्यादा रिटर्न मिलने की संभावना होती है. किसी भी फंड ने कितना रिटर्न दिया है, यह जरूर चेक करें. एक मार्केट साइकिल को पूरा होने में लगभग 3 साल लगते हैं, इसलिए यह जरूर देखें कि फंड ने बीते 3 साल में कितना रिटर्न दिया है.

उदाहरण के लिए

  • Motilal Oswal Midcap Fund ने 3 साल में 25% से अधिक का रिटर्न दिया है, लेकिन यह Very High Risk फंड है.
  • Parag Parikh Flexi Cap Fund ने 21% से अधिक का रिटर्न दिया है.
  • Bandhan Small Cap Fund ने 29.5% का रिटर्न दिया है.
  • Nippon India Large Cap Fund ने 19.3% का रिटर्न दिया है.

डिस्क्लेमर: Money9live किसी स्टॉक, म्यूचुअल फंड, आईपीओ में निवेश की सलाह नहीं देता है. यहां पर केवल स्टॉक्स की जानकारी दी गई है. निवेश से पहले अपने वित्तीय सलाहकार की राय जरूर लें.