ACME Solar बनाम Oriana Power, BESS मार्केट में कौन आगे; किसने दिया ज्यादा रिटर्न

भारत में बैटरी एनर्जी स्टोरेज सिस्टम (BESS) तेजी से बढ़ता सेक्टर बन गया है. ACME Solar ने हाल में 2.44 प्रतिशत की तेजी के साथ बेहतर प्रदर्शन किया, जबकि Oriana Power के शेयरों में थोड़ी गिरावट देखी गई.

ACME Solar VS Oriana Power: बैटरी एनर्जी स्टोरेज सिस्टम (BESS) अब दुनिया में बिजली व्यवस्था को बेहतर बनाने में बड़ी भूमिका निभा रहे हैं. ये सिस्टम बिजली ग्रिड को स्थिर रखने और सोलर जैसी रिन्यूूएबल एनर्जी को बाद में इस्तेमाल करने के लिए जमा करने में मदद करते हैं. भारत में भी जैसे-जैसे बिजली व्यवस्था बदल रही है, कई कंपनियां इस क्षेत्र में आगे बढ़ने की कोशिश कर रही हैं. ACME Solar, Oriana Power जैसी कंपनियां भी इस सेक्टर में एक्टिव है.

ACME Solar को शेयर 2 फीसदी चढ़े

ACME Solar Holdings Ltd के शेयर 11 जुलाई को 2.44 फीसदी की बढ़त के साथ 296 रुपये पर बंद हुए. कंपनी का मार्केट कैपिटल 17,795 करोड़ रुपये है. इसका 52 हफ्तों का उच्चतम स्तर 304 रुपये और न्यूनतम स्तर 168 रुपये रहा है. शेयर का P/E रेशियो 66.8 है, जबकि बुक वैल्यू 74.5 रुपये है. कंपनी का डिविडेंड यील्ड 0.07 फीसदी है. ROCE यानी रिटर्न ऑन कैपिटल एम्प्लॉयड 8.40 फीसदी और ROE यानी रिटर्न ऑन इक्विटी 7.50 फीसदी है. इसका फेस वैल्यू 2 रुपये है और शेयर का P/B रेशियो लगभग 3.97 है. पिछले 1 साल में इसने 16 फीसदी का रिटर्न दिया है.

Oriana Power के शेयर में हल्की गिरावट

Oriana Power Ltd के शेयर 11 जुलाई को 0.21 फीसदी की हल्की गिरावट के साथ 2,300 रुपये पर बंद हुए. कंपनी का मार्केट कैप 4,673 करोड़ रुपये है. इसका 52 हफ्तों का सबसे ऊंचा स्तर 2,797 रुपये और सबसे निचला स्तर 1,000 रुपये रहा है. कंपनी का P/E रेशियो 29.5 है और बुक वैल्यू 251 रुपये है. डिविडेंड यील्ड फिलहाल 0 फीसदी है, यानी कंपनी ने अभी कोई डिविडेंड नहीं दिया है. कंपनी की ROCE 42.3 फीसदी और ROE 48.3 फीसदी है, जो दर्शाता है कि कंपनी अपने निवेशकों को अच्छा रिटर्न दे रही है. इसका फेस वैल्यू 10 रुपये है. पिछले एक साल में इसके शेयरों में 4 फीसदी की गिरावट देखी गई है.

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Oriana Power को तमिलनाडु में मिला प्रोजेक्ट

Oriana Power को तमिलनाडु के करैकुडी में 50 मेगावाट की बैटरी स्टोरेज प्रोजेक्ट मिली है, जिसमें 100 मेगावाट-घंटा बिजली जमा की जा सकेगी. यह प्रोजेक्ट सरकार की मदद से चलाया जाएगा ताकि बिजली सप्लाई को ज्यादा भरोसेमंद बनाया जा सके और सोलर एनर्जी बेहतर तरीके से जोड़ा जा सके.

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