अक्टूबर में बेरोजगारी दर 5.2% पर बरकरार, शहरी अन-एंप्लॉयमेंट तीन महीने के उच्चतम स्तर 7 फीसदी पर पहुंची

Unemployment Rate: सोमवार को जारी सरकारी आंकड़ों के अनुसार, शहरी क्षेत्रों में बेरोजगारी दर 6.8 फीसदी से बढ़कर 7 फीसदी हो गई. इसी अवधि के दौरान महिला बेरोजगारी में मामूली गिरावट देखी गई. श्रम बल भागीदारी छह महीने के उच्चतम स्तर 55.4 फीसदी पर पहुंच गई.

बेरोजगारी दर स्थिर. Image Credit: Tv9

Unemployment Rate: अक्टूबर में भारत की बेरोजगारी दर 5.2 फीसदी पर बनी रही. इसमें किसी भी तरह का कोई बदलाव नहीं हुआ.जबकि ग्रामीण बेरोजगारी दर में मामूली गिरावट आई है. सितंबर 2025 में यह 4.6 फीसदी थी, जो अक्टूबर 2025 में 4.4 फीसदी हो गई. हालांकि, सोमवार को जारी सरकारी आंकड़ों के अनुसार, शहरी क्षेत्रों में बेरोजगारी दर 6.8 फीसदी से बढ़कर 7 फीसदी हो गई. इसी अवधि के दौरान महिला बेरोजगारी में मामूली गिरावट देखी गई, जो 5.5 फीसदी से घटकर 5.4 फीसदी हो गई. इसका मुख्य कारण ग्रामीण महिलाओं में बेरोजगारी में कमी थी, जो 4.3 फीसदी से घटकर 4.0 फीसदी हो गई.

पुरुष बेरोजगारी दर

अक्टूबर 2025 में पुरुष बेरोजगारी दर पिछले महीने की तुलना में 5.1 फीसदी पर स्थिर रही. ग्रामीण पुरुष बेरोजगारी दर में 4.7 फीसदी से 4.6 फीसदी तक की मामूली गिरावट, इसी अवधि में शहरी पुरुष बेरोजगारी दर में 6.0 फीसदी से 6.1 फीसदी तक की मामूली वृद्धि से संतुलित हुई, जिसने ओवरऑल ने स्थिरता में योगदान दिया.

सांख्यिकी एवं कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय द्वारा जारी नए पीरियोडिक लेबर फोर्स सर्वे (PLFS) के अनुसार, शहरी बेरोजगारी दर सितंबर के 6.8 प्रतिशत से बढ़कर 7 प्रतिशत हो गई, जो शहरों में श्रम बाजार की कमजोर स्थिति को दर्शाती है.

श्रम बल भागीदारी

श्रम बाजार में कुछ अंडरलाइंग फ्लेक्सिबिलिटी दिखा. श्रम बल भागीदारी छह महीने के उच्चतम स्तर 55.4 फीसदी पर पहुंच गई, जबकि श्रमिक जनसंख्या अनुपात बढ़कर 52.5 फीसदी हो गया, जो लगातार चार महीनों में सुधार का संकेत है. इस गति का मुख्य कारण ग्रामीण महिलाएं थीं, जिनके रोजगार संकेतकों में पूरे महीने लगातार वृद्धि देखी गई. दूसरी ओर, शहरी क्षेत्रों में महिला बेरोजगारी दर सात महीने के उच्चतम स्तर 9.7 फीसदी पर पहुंच गई.

15 वर्ष और उससे अधिक आयु के व्यक्तियों के लिए श्रम बल भागीदारी दर (LFPR) में वृद्धि देखी गई. LFPR किसी देश की कार्यशील आयु वर्ग की जनसंख्या का वह प्रतिशत है जो या तो कार्यरत है या सक्रिय रूप से काम की तलाश में है.

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