Astra Missile बेहद घातक, पलक झपकते ही दुश्मन का गेम ओवर! जानें क्यों मची चीन-पाकिस्तान में खलबली?
डिफेंस सेक्टर में आत्मनिर्भरता बढ़ाने के अपने लक्ष्य को हासिल करने की दिशा में भारत ने एक और कदम बढ़ा दिया है. DRDO ने हाल में ही सुखोई-30 MKI फाइटर जेट से Astra Beyond Visual Range Missile का सफल लॉन्च किया है. एयर टू एयर अटैक कैपेसिटी के लिहाज से यह भारत के डिफेंस सेक्टर के लिए बड़ी कामयाबी है.

Astra Beyond Visual Range Missile भारतीय वायु सेना के जखीरे में जुड़ा ऐसा घातक हथियार है, जो इसे लॉन्च किए जाने की भनक लगने से पहले ही दुश्मन का गेम ओवर कर देता है. दुनिया में भारत के अलावा इस तरह की मिसाइल बनाने की क्षमता फिलहाल अमेरिका, रूस, यूरोपियन यूनियन और चीन के पास है. इसके अलावा इस्राइल और पाकिस्तान के पास भी इस तरह की मिसाइलें हैं. अगर रेंज और मारक क्षमता के लिहाज से देखा जाए, तो भारत की मिसाइल फिलहाल इस कैटेगरी में मौजूद हथियारों में टॉप कंटस्टेंट बनकर उभरी है. खासतौर पर इसकी वजह से चीन और पाकिस्तान में खलबली है, क्योंकि यह मिसाइल पाकिस्तान और चीन के हवाई हमलों के प्रयासों को बेहद सटीकता और कुशलता के साथ नाकाम कर सकती है.
क्या है भारत की उपलब्धि?
DRDO यानी रक्षा अनुसंधान व विकास संगठन ने पिछले सप्ताह ओडिशा तट पर सुखोई-30 MKI से BVRA यानी बियॉन्ड विजुअल रेंज मिसाइल Astra का सफल परीक्षण किया. इस मिसाइल से सुखाई ने कई टारगेट ड्रोन मार गिराए. इसके साथ ही, DRDO ने एक क्विक डिप्लोयेबल 155 मिमी/52 कैलिबर माउंटेड गन सिस्टम भी तैयार किया है, जो महज दो मिनट से भी कम समय में फायर और मूवमेंट कर सकता है.
कितनी है Astra की रेंज?
DRDO की तरफ से Astra के लॉन्च के बाद जारी एक स्टेटमेंट में बताया कि यह मिसाइल 100 किलोमीटर से भी अधिक दूरी पर मौजूद टागेट्स को सटीकता से खत्म कर सकती है. इसमें भारत में ही डिजाइन किए गए रेडियो फ्रीक्वेंसी सीकर और मॉडर्न गाइडेंस सिस्टम का इस्तेमाल किया गया है.
एक भी निशाना नहीं चूका
DRDO ने बताया कि टेस्टिंग के दौरान दो Astra मिसाइलों को अलग-अलग युद्ध स्थितियों में टेस्ट किया गया और दोनों ही स्थितियों में मिसाइलों ने कई हाई स्पीड ड्रोन्स पर निशाना लगाया.
चीन के पास कौनसी मिसाइल?
चीन के पास Astra के मुकाबले के लिए BVRA कैटेगरी में PL15 मिसाइलें हैं. चीनी के साथ ही पाकिस्तानी वायु सेना भी इन मिसाइलों का इस्तेमाल करती है. हालांकि, पिछले दिनों ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पूरी दुनिया ने चीन की बनी इन मिसाइलों को फुस्स होते देखा, जिसके बाद चीन की तमाम डिफेंस कंपनियों के स्टॉक्स में तेज गिरावट देखने को मिली थी.
Astra vs Pl 15
रेंज और स्पीड के लिहाज से दोनों ही मिसाइलों में बहुत मामूली अंतर है. लेकिन, टेक्नोलॉजी के लेवल पर भारत की Astra के कई वैरिंएंट पर काम चल रहा है, जिनमें से कई वैरिएंट चीन की PL 15 से रडार, गाइडेंस और Maneuverability के लिहाज से बेहतर हैं. वहीं, अमेरिका के पास इस कैटेगरी में AIM-174 मिसाइल है, जो रेंज और स्पीड के मामले में भारत की Astra जैसी ही है.
किस डिफेंस कंपनी को होगा फायदा?
भारतीय वायु सेना से ऑर्डर और DRDO से अनुमति मिलने के बाद BDL यानी भारत डायनेमिक्स लिमिटेड इस मिसाइल का मास प्रोडक्शन करेगी. एक अनुमान के मुताबिक जल्द ही वायु सेना से BDL को 500 मिसाइल का ऑर्डर मिल सकता है. BDL का शेयर सोमवार को 1.86 फीसदी गिरावट के साथ 1,822 रुपये पर बंद हुआ. हालांकि, पिछले 6 महीने में इसके शेयर प्राइस में 58 फीसदी से ज्यादा का उछाल आ चुका है.
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