Mutual Funds ने नए IPOs में झोंके 8752 करोड़ रुपये, Saatvik Green, Vikram Solar समेत छुटकू शेयरों पर भरोसा बरकरार

वेंचुरा की रिपोर्ट के मुताबिक, सितंबर 2025 तिमाही में म्यूचुअल फंड्स ने नए आईपीओ में ₹8,752 करोड़ का निवेश किया है. इनमें ज्यादातर स्मॉल कैप कंपनियां शामिल हैं, जबकि Anthem Biosciences अकेली मिड कैप कंपनी रही. यह निवेश छोटे शेयरों की लंबी ग्रोथ स्टोरी में भरोसे को दिखाता है.

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भारत की म्यूचुअल फंड इंडस्ट्री इस बार छोटे लेकिन संभावना से भरे कारोबारों पर बड़ा दांव खेल रही है. सितंबर 2025 तिमाही में म्यूचुअल फंड्स ने नए लिस्टेड कंपनियों यानी IPOs में कुल 8,752 करोड़ रुपये का निवेश किया है. स्टॉक ब्रोकिंग प्लेटफॉर्म वेंचुरा (Ventura) की रिपोर्ट के मुताबिक, इस अवधि में अधिकतर नए निवेश स्मॉल कैप कंपनियों में किए गए हैं, जबकि सिर्फ एक कंपनी को मिड कैप कैटेगरी में रखा गया है.

छोटे कारोबारों में बड़ी संभावनाएं

रिपोर्ट के मुताबिक, म्यूचुअल फंड्स ने सितंबर तिमाही में Anthem Biosciences, Aditya Infotech, JSW Cement, Urban Company, Bluestone Jewellery, Saatvik Green Energy, National Securities Depository (NSDL) जैसी नई कंपनियों में हिस्सेदारी ली है. इनमें से Anthem Biosciences 2754 करोड़ रुपये के निवेश के साथ सबसे आगे रही, जिसे मिड कैप के रूप में वर्गीकृत (categorised) किया गया है. बाकी ज्यादातर कंपनियां जैसे JSW Cement, Urban Company, Vikram Solar और Travel Food Services को स्मॉल कैप में रखा गया है.

कंपनी (New Entrants – IPO)म्यूचुअल फंड्स द्वारा होल्डिंग (₹ करोड़ में)SEBI के अनुसार श्रेणी (Categorisation as per SEBI)
Anthem Biosciences2,754Mid Cap
Aditya Infotech1,272Small Cap
JSW Cement1,039Small Cap
Travel Food Services793Small Cap
Urban Company777Small Cap
Bluestone Jewellery and Lifestyle452Small Cap
Saatvik Green Energy383Small Cap
National Securities Depository (NSDL)363Small Cap
Indiqube Spaces340Small Cap
Vikram Solar326Small Cap
Brigade Hotel Ventures253Small Cap

वेंचुरा की रिपोर्ट का कहना है कि यह रणनीति बताती है कि फंड हाउस अब छोटे लेकिन तेजी से बढ़ते कारोबारों पर फोकस कर रहे हैं, जिनमें आने वाले वर्षों में मिड कैप या लार्ज कैप बनने की क्षमता है.

फंड इंडस्ट्री में जोरदार इनफ्लो

रिपोर्ट बताती है कि सितंबर 2025 तिमाही में इक्विटी म्यूचुअल फंड्स में निवेशकों का विश्वास और बढ़ा है. इक्विटी स्कीम्स में ₹1,06,554 करोड़ का इनफ्लो दर्ज किया गया, जो पिछली तिमाही के ₹66,869 करोड़ से कहीं ज्यादा है. वहीं, डेट स्कीम्स से ₹3,156 करोड़ का आउटफ्लो हुआ, जबकि पिछली तिमाही में इसमें ₹2,01,516 करोड़ का इनफ्लो था.

हाइब्रिड स्कीम्स ने भी निवेशकों का ध्यान खींचा, जहां ₹45,570 करोड़ का इनफ्लो दर्ज किया गया. सबसे दिलचस्प बात यह रही कि SIP के आंकड़े सितंबर 2025 तक ₹29,361 करोड़ के मासिक निवेश के साथ अब तक के हाई पर पहुंच गए.

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वेंचुरा का अनुमान है कि आने वाले महीनों में 9 मिड कैप कंपनियां लार्ज कैप कैटेगरी में और 6 स्मॉल कैप कंपनियां मिड कैप कैटेगरी में पहुंच सकती हैं. यह संकेत देता है कि म्यूचुअल फंड्स की मौजूदा रणनीति सिर्फ शॉर्ट टर्म नहीं, बल्कि लॉन्ग टर्म ग्रोथ को ध्यान में रखकर बनाई गई है.

डिस्क्लेमर: Money9live किसी स्टॉक, म्यूचुअल फंड, आईपीओ में निवेश की सलाह नहीं देता है. यहां पर केवल स्टॉक्स की जानकारी दी गई है. निवेश से पहले अपने वित्तीय सलाहकार की राय जरूर लें.