ये ट्रांसफॉर्मर कंपनियां बन सकती हैं ग्रोथ का पावरहाउस, 2026 तक ₹40000 करोड़ का होने वाला है मार्केट; निवेशक रखें नजर

भारत की ट्रांसफॉर्मर इंडस्ट्री तेजी से ग्रोथ कर रही है और वित्तीय वर्ष 2026 तक इसका साइज 40,000 करोड़ रुपये पार करने का अनुमान है. बिजली की बढ़ती मांग, 500 गीगावाट रिन्यूएबल एनर्जी लक्ष्य और मजबूत ग्रिड की जरूरत इस सेक्टर को बड़ा बना रही है. पहले साधारण माने जाने वाले ट्रांसफॉर्मर अब निवेशकों के लिए आकर्षक ग्रोथ स्टोरी बन रहे हैं.

इन ट्रांसफारमर कंपनियों का दमदार है फंडामेंटल Image Credit: money9live.com

Transformer stocks: पहले, भारत की ट्रांसफॉर्मर इंडस्ट्री को सिर्फ बिजली क्षेत्र का एक साधारण और उबाऊ हिस्सा माना जाता था. लेकिन पिछले कुछ सालों में इस स्थिति में बड़ा बदलाव आया है. अचानक इस क्षेत्र को रिकॉर्ड तोड़ ऑर्डर मिलने लगे, क्योंकि देश में बिजली ट्रांसमिशन नेटवर्क को तेजी से बढ़ाया जा रहा है. नई रिन्यूएबल एनर्जी परियोजनाओं के लिए मजबूत ग्रिड की जरूरत पड़ रही है और उद्योगों में फिर से निवेश शुरू हुआ है. इस वजह से यह बाजार अब बहुत बड़ा हो गया है और अनुमान है कि वित्तीय वर्ष 2026 तक इसका साइज 40,000 करोड़ रुपये (400 बिलियन) को पार कर जाएगा.

देश में बिजली की मांग लगातार बढ़ रही है, सरकार का 500 गीगावाट रिन्यूएबल एनर्जी का लक्ष्य है और ग्रिड को अब और बड़ा व स्मार्ट बनाने की जरूरत है. इसलिए, निवेशकों के लिए अब ट्रांसफॉर्मर कंपनियां सिर्फ एक साधारण उपयोगिता नहीं, बल्कि 2026 में देखने वाली एक ग्रोथ स्टोरी बन सकती हैं. तो चलिए आपको बताते हैं उन कंपनियों के बारे में जो इस इंडस्ट्री में काम करती हैं और निवेशक इन पर नजर रख सकते हैं.

Shilchar Technologies

वडोदरा की शिलचार टेक्नोलॉजीज ट्रांसफॉर्मर बनाने वाली एक अहम कंपनी है. ये रिन्यूएबल एनर्जी सेक्टर के लिए खासतौर पर कस्टम-निर्मित प्रोडक्ट बनाती है. अपनी इसी क्वालिटी के चलते इसने 25 से अधिक देशों में अपना निर्यात भी फैलाया है.

कंपनी का वित्तीय वर्ष 2024-25 शानदार रहा, जहां इसका रेवेन्यू 57 फीसदी बढ़कर 623 करोड़ रुपये पर पहुंच गया है. वहीं मुनाफा भी 59 फीसदी बढ़कर 147 करोड़ रुपये पहुंच गया है. शुक्रवार को इसका शेयर 1.31 फीसदी गिरकर 4601 रुपये पर पहुंच गया है.

Voltamp Transformers

वोल्टाम्प ट्रांसफॉर्मर्स गुजरात में स्थित एक अहम ट्रांसफॉर्मर निर्माता कंपनी है. यह बिजली, तेल और गैस, स्टील, सीमेंट और ग्रीन एनर्जी जैसे विभिन्न इंडस्ट्री को अपने प्रोडक्ट सप्लाई करती है. कंपनी की गुजरात में चार फैक्ट्रियां हैं. वित्तीय वर्ष 2024-25 (FY25) कंपनी के लिए एक रिकॉर्ड तोड़ साल रहा.

इस दौरान, इसका रेवेन्यू पिछले साल के मुकाबले करीब 20 फीसदी बढ़कर 1934 करोड़ रुपये पहुंच गया है. इस दौरान कंपनी का मुनाफा 307 करोड़ रुपये से बढ़कर 325 करोड़ रुपये हो गया है. शुक्रवार को इसका शेयर 1.12 फीसदी गिरकर 7808 रुपये पर पहुंच गया है.

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Pitti Engineering

पिट्टी इंजीनियरिंग भारत की सबसे बड़ी कंपनी है जो विद्युत स्टील लैमिनेशन (बिजली के उपकरणों के लिए जरूरी पुर्जे) बनाती और निर्यात करती है. यह मशीनीकृत कास्टिंग और फैब्रिकेटेड कंपोनेंट्स के क्षेत्र में भी एक प्रमुख खिलाड़ी है.

वित्तीय वर्ष 2024-25 (FY25) में कंपनी का रेवेन्यू 26 फीसदी बढ़कर 1,525 करोड़ रुपये पहुंच गया है. साथ ही कंपनी का मुनाफा इस दौरान 90 करोड़ रुपये से बढ़कर 107 करोड़ रुपये पहुंच गया. शुक्रवार को इसका शेयर 1.60 फीसदी गिरकर 927.05 रुपये पर पहुंच गया है.

डिस्क्लेमर: Money9live किसी स्टॉक, म्यूचुअल फंड, आईपीओ में निवेश की सलाह नहीं देता है. यहां पर केवल स्टॉक्स की जानकारी दी गई है. निवेश से पहले अपने वित्तीय सलाहकार की राय जरूर लें.