बैंक में 1 साल में जमा करवाते हैं 50 लाख या विदेश में है प्रॉपर्टी? इन 5 कंडीशन में ITR फाइल करना न करें इग्नोर

इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) फाइल करना किन लोगों के लिए जरूरी है? अगर आपकी कुल इनकम बेसिक एग्जेम्प्शन लिमिट से ज्यादा है तो क्या ITR फाइलिंग जरूरी है. ऐसे और भी कई मामलों में ITR फाइलिंग को लेकर लोगों में कई धारणाएं हैं, चलिए जानते हैं.

ITR फाइलिंग क्यों जरूरी है Image Credit: Money9live/Canva

Who is required to file ITR? आइए अब बात करते हैं कि किन लोगों के लिए इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) भरना जरूरी है. अक्सर सैलेरी पाने वाले लोग ये मानते हैं कि अगर उनकी सैलरी से टैक्स कट चुका है तो उन्हें ITR फाइल करने की कोई जरूरत नहीं है. कुछ रिटायर्ड लोग भी यही सोचते हैं कि अगर बैंक ने फिक्स्ड डिपॉजिट पर टैक्स काट लिया है, तो उन्हें कोई और फॉर्मेलिटी पूरी नहीं करनी. वहीं कुछ लोग मानते हैं कि सिर्फ PAN कार्ड होने की वजह से ITR भरना जरूरी है. लेकिन ये दोनों ही धारणाएं पूरी तरह सही नहीं हैं. टैक्स देना और ITR फाइल करना दो अलग-अलग जिम्मेदारियां हैं. दोनों को निभाना जरूरी है.

आइए जानते हैं कि किन परिस्थितियों में ITR फाइल करना जरूरी हो जाता है. ये चर्चा सिर्फ व्यक्तिगत टैक्सपेयर्स के लिए है, बाकी के टैक्सपेयर्स इसमें शामिल नहीं हैं.

1) अगर आपकी कुल इनकम बेसिक एग्जेम्प्मशन (छूट) लिमिट से ज्यादा है

अगर आपकी कुल इनकम बेसिक एग्जेम्प्शन लिमिट से ज्यादा है, तो आपको ITR फाइल करना जरूरी है. ये लिमिट चैप्टर VI-A के सेक्शन 80C, 80D, 80E, 80G, 80TTA/TTB आदि में आती हैं, जैसे PPF, NPS, होम लोन की प्रिंसिपल राशि, मेडिक्लेम, डोनेशन, सेविंग अकाउंट का ब्याज आदि.

पुरानी टैक्स व्यवस्था के तहत ये एग्जेम्प्शन लिमिट इस प्रकार है:

  • सामान्य व्यक्ति: 2.5 लाख
  • 60 वर्ष से अधिक निवासी: 3 लाख
  • 80 वर्ष से अधिक निवासी: 5 लाख

नई टैक्स व्यवस्था के तहत सभी के लिए 3 लाख की लिमिट लागू है. अगर आपने लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन पर कोई छूट ली है (जैसे सेक्शन 54, 54F, 54EC के तहत), तो उसे भी कुल इनकम में जोड़ना होगा.

2) विदेश में संपत्ति या सिग्नेचर अथॉरिटी हो तो

अगर आप टैक्स के हिसाब से भारत के निवासी हैं और आपके पास विदेश में कोई संपत्ति है या आप किसी विदेशी बैंक खाते के साइनिंग अथॉरिटी हैं, तो भी आपको ITR फाइल करना जरूरी है. चाहे आपने कोई विदेशी बैंक खाता खोला हो और उसमें पैसे ना भी हों, या आपने विदेशी शेयर्स, म्यूचुअल फंड या ESOPs में निवेश किया हो तो इन सभी स्थितियों में ITR भरना अनिवार्य है.

3) कुछ खर्च तय लिमिट से ज्यादा किए हो

अगर आपने एक साल में 1 लाख से ज्यादा बिजली का बिल भरा है, तो ITR भरना जरूरी है. चाहे बिजली कनेक्शन आपके नाम पर न हो. इसी तरह, अगर आपने विदेश यात्रा पर 2 लाख से ज्यादा खर्च किया है, तो भी ITR फाइल करना जरूरी हो जाता है. ये खर्च किसी के लिए भी किया गया हो खुद, परिवार या किसी और के लिए फर्क नहीं पड़ता.

4) बैंक खातों में जमा रकम तय लिमिट से ज्यादा हो

अगर आपने बैंक खाते में एक साल में ज्यादा रकम जमा की है, तो ITR भरना जरूरी है, चाहे आपकी इनकम एग्जेम्प्शन लिमिट से कम ही क्यों न हो.

  • करंट अकाउंट में 1 करोड़ या उससे ज्यादा जमा हो तो
  • सेविंग अकाउंट में 50 लाख या उससे ज्यादा जमा हो तो

यहां जमा का मतलब सिर्फ नकद नहीं है. चेक, ड्राफ्ट या ऑनलाइन ट्रांसफर से जमा की गई राशि भी इसमें शामिल होती है.

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5) व्यापार या पेशे से होने वाली कमाई या TDS की राशि

अगर आप व्यापार करते हैं और आपकी कुल बिक्री 60 लाख से ज्यादा है, या आप प्रोफेशनल हैं और आपकी कुल फीस 10 लाख से ज्यादा है, तो भी ITR भरना जरूरी है. इसके अलावा, अगर आपके ऊपर साल भर में 25,000 या उससे ज्यादा TDS या TCS कटा है, तो भी ITR फाइल करना जरूरी है.

अगर आपकी उम्र 60 साल से ज्यादा है, तो ये लिमिट 50,000 हो जाती है.इस पूरी जानकारी से आपको ये स्पष्ट हो जाना चाहिए कि ITR फाइल करना सिर्फ टैक्स कटने तक सीमित नहीं है. कई अन्य स्थितियों में भी ITR भरना जरूरी हो जाता है.

लेखक बलवंत जैन टैक्स और निवेश मामलों के विशेषज्ञ हैं. उनसे jainbalwant@gmail.com पर या X (पहले ट्विटर) पर @jainbalwant हैंडल पर संपर्क किया जा सकता है.