भारत के ‘वॉरेन बफे’ ने 10 साल बाद किया इन दो शेयरों से एग्जिट, जानिए क्यों ये पसंदीदा स्टॉक्स हुए पोर्टफोलियो से बाहर
'भारत के वॉरेन बफे' कहे जाने वाले दिग्गज निवेशक अशीष धवन ने अपने पोटफोलियो में शामिल दो स्टॉक्स से एग्जिट कर दिया है. इनमें Glenmark Pharmaceuticals और Greenlam Industries शामिल है. एक में उनका निवेश 10 साल तो एक में 6 साल पुराना है. तो क्या है बाहर निकलने की वजह, जानिए.
Ashish Dhawan sold off shares: शेयर बाजार की उथल-पुथल में एक दशक तक स्टॉक्स को होल्ड करना आसान नहीं. मगर ‘भारत के वॉरेन बफे’ कहे जाने वाले दिग्गज निवेशक अशीष धवन ने अपने पोर्टफोलियो में दो ऐसी कंपनियों को जगह दी थी, जिसमें उन्होंने 10 साल तक निवेश किया, लेकिन इतने लंबे समय के बाद उन्हें अपने इन पसंदीदा स्टॉक्स से एग्जिट कर दिया है. इन स्टॉक्स में एक ग्लोबल फार्मा दिग्गज और दूसरी 120 देशों में निर्यात करने वाली लैमिनेट्स निर्माता कंपनी है. जिनका नाम Glenmark Pharmaceuticals और Greenlam Industries है. तो आखिर क्यों दिग्गज निवेशक ने इन शेयरों से बनाई दूरी जानें वजह.
Glenmark Pharmaceuticals
ग्लेनमार्क फार्मास्यूटिकल्स, जिसकी मार्केट कैप 51,318 करोड़ रुपये है, दिसंबर 2019 से धवन के पोर्टफोलियो का हिस्सा थी. जून 2025 तक उनकी हिस्सेदारी इसमें 1.24% थी, लेकिन सितंबर 2025 की फाइलिंग के मुताबिक, यह 1% से नीचे आ गई, यानी उन्होंने आंशिक या पूर्ण रूप से एग्जिट कर लिया.
मुनाफे के बावजूद किया एग्जिट
ग्लेनमार्क की सेल्स FY20 में 10,641 करोड़ रुपये से बढ़कर FY25 में 13,322 करोड़ रुपये हो गई, यानी 5% की कंपाउंडेड ग्रोथ दर्ज की गई. EBITDA भी 1,699 करोड़ से बढ़कर 2,351 करोड़ रुपये हो गया, जो 7% की ग्रोथ दिखाता है. FY23 और FY24 में मुश्किलों के बाद FY25 में कंपनी ने मुनाफे में शानदार वापसी की. इतना ही नहीं शेयर की कीमत अक्टूबर 2020 के 485 रुपये से बढ़कर 23 अक्टूबर 2025 को 1,851 रुपये हो गई, यानी 281% का उछाल. फिर भी, कंपनी का PE रेशियो 39x है, जो इंडस्ट्री मीडियन 33x से ज्यादा है. जानकारों का मानना है कि निवेशक आशीष धवन के इस स्टॉक से एग्जिट के पीछे ये एक कारण हो सकता है.
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Greenlam Industries
2013 में शुरू हुई ग्रीनलैम इंडस्ट्रीज लैमिनेट्स और डेकरेटिव विनियर्स बनाती है, जिसकी मार्केट कैप 6,496 करोड़ रुपये है. यह कंपनी दिसंबर 2015 से धवन के पोर्टफोलियो में थी, लेकिन सितंबर 2025 की फाइलिंग के मुताबिक उनकी 3.77% हिस्सेदारी 1% से नीचे आ गई. ग्रीनलैम की सेल्स FY20 के 1,321 करोड़ रुपये से FY25 में 2,569 करोड़ रुपये हो गई, यानी 14% की कंपाउंडेड ग्रोथ. EBITDA 179 करोड़ से 275 करोड़ रुपये हो गया, जो 9% की ग्रोथ दिखाता है, हालांकि FY24 के 296 करोड़ से यह कम है.
कंपनी का मुनाफा स्थिर नहीं रहा, जानकारों के मुताबिक आषीष धवन के एग्जिट के पीछे कंपनी का अस्थिर मुनाफा एक बड़ी वजह हो सकती है. अभी इसके शेयर की कीमत 255.73 रुपये है. एक महीने में ये 7 फीसदी से ज्यादा उछला है.
डिस्क्लेमर: Money9live किसी स्टॉक, म्यूचुअल फंड, आईपीओ या डेरिवेटिव में निवेश की सलाह नहीं देता है. यहां पर केवल जानकारी दी गई है. निवेश से पहले अपने वित्तीय सलाहकार की राय जरूर लें
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